इंटर्नशिप और अप्रेंटिसशिप में फर्क जानते हैं आप, इन दोनों में से क्या है बेहतर? जानिए यहां
Apprenticeship Vs Internship: इंटर्नशिप और अप्रेंटिसशिप दोनों ही वर्क एक्सपीरियंस पाने के लिए हैं. हालांकि, इनकी ऐसी कोई आधिकारिक परिभाषा तो हैं नहीं, लेकिन इन दोनों के बीच काफी अंतर हैं. आज हम जानेंगे कि इन दोनों में क्या फर्क हैं...
Internship And Apprenticeship Difference: इंटर्नशिप और अप्रेंटिसशिप ये दोनों की करियर का प्रत्यक्ष अनुभव पाने के शानदार अवसर हैं, जो रोजगार की ओर लेकर जाता है. साथ ही आपका CV भी अच्छा दिखता है. इंटर्नशिप बिना किसी जल्दी के करियर पाथ तय करने का एक तरीका होता है, जिससे आपको यह तय करने में आसानी होती है कि आप किस रास्ते पर आगे बढ़ना चाहते हैं. इंटर्नशिप अनुभव और रोजगार पाने की आपकी संभावनाओं को बेहतर बनाने का एक जरिया है, जबकि अप्रेंटिसशिप एक प्रतिबद्धता है. आइए जानते हैं कि अप्रेंटिसशिप और इंटर्नशिप में क्या अंतर है और इन दोनों में से क्या करना ज्यादा बेहतर होता है...
टाइम ड्यूरेशन
इंटर्नशिप एक छोटे वर्क एक्सपीरियंस के तौर पर काउंट की जाती है. यह ज्यादा से ज्यादा 1 से लेकर 6 महीने तक की हो सकती है. वहीं, अप्रेंटिसशप के तौर पर आपके पास एक लंबा कार्य अनुभव होता है. यह कम से कम एक साल की होती है, जबकि कुछ मामलों में यह योग्यता और इंडस्ट्री पर निर्भर करती है, जो 3 से 6 साल तक चलती है.
सैलरी
इंटर्नशिप अक्सर बिना सैलरी की होती है या फिर कम अमाउंट का स्टाइपेंड दिया जाता है और भविष्य में काम मिलने की कोई गारंटी नहीं होती, इसलिए इन्हें भी सावधानी से चुना जाना चाहिए और आपको यह क्लियर होना चाहिए कि आप इससे क्या हासिल करना चाहते हैं.
वहीं, अप्रेंटिसशिप में बढ़िया सैलरी दी जाती है.
वर्क फोकस
अप्रेंटिसशप में संगठन में किसी पद को भरने के लिए जरूरी विशिष्ट कौशल में महारत हासिल करने पर फोकस होता है. जबकि, इंटर्नशिप संरचित नहीं होती हैं और अक्सर एंट्री लेवल के सामान्य कार्य अनुभव पर ध्यान केंद्रित करती हैं.
फील्ड
इंटर्नशिप किसी भी फील्ड में की जा सकती है, जो कि आजकल बहुत जरूरी मानी जाती है. वहीं, अप्रेटिंसशिप टेक्नीकल और स्किल बेस्ड फील्ड में होती है.
जॉब अपॉर्चुनिटी
यह स्पष्ट तौर पर नहीं कहा जा सकता है कि इंटर्नशिप के बाद अच्छी नौकरी मिलने की संभावनाएं बहुत ज्यादा होती है. वहीं, अप्रेंटिसशिप करने के बाद आपको कई अच्छे ऑफर मिलते हैं. इंटर्नशिप के लिए आपको खुद से मौके तलाशने पड़ते हैं और ज्यादातर प्राइवेट कंपनियों में ही अवसर मिलते हैं. जबकि, अप्रेंटिसशिप के लिए सरकारी विभागों में बंपर वैकेंसी निकलती ही रहती हैं.
सर्टिफिकेट
अप्रेंटिसशिप में आपको सर्टिफिकेट दिया जाता है, जिसकी अच्छी खासी वैल्यू होती है. इंटर्नशिप की अपेक्षा अप्रेंटिसशिप ज्यादा सुसंगत और बढ़िया सैलरी प्रदान करती है. अप्रेंटिसशिप का अधिकतम लाभ उठाने के लिए आपको ऐसा विषय चुनना चाहिए, जिसके लिए आप वास्तव में जुनूनी हों. इंटर्नशिप में अक्सर सर्टिफिकेट नहीं दिया जाता है.
मेंटरशिप
अप्रेंटिसशिप के दौरान उम्मीदवारों को एक अनुभवी मेंटर से ट्रेंनिग मिलती है जो उन्हें पूरी प्रक्रिया में गाइड करता है. जबकि इंटर्नशिप में हमेशा मेंटरशिप नहीं मिलती है.