Lazy Students Tips: एक स्टूडेंट की लाइफ अच्छी आदतें बनाने और ब्राइट फ्यूचर के लिए बेस तैयार करने का एक जरूरी समय होता है. हालाँकि, आलस एक बड़ी बाधा बन सकता है, जो एकेडमिक सक्सेस, मैमोरी और पर्सनल ग्रोथ को नुकसान पहुंचा सकता है.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

स्टडी से पता चलता है कि एक्टिव रहना दिमाग को तेज रखने की 'की' है. फिनलैंड में यूनिवर्सिटी ऑफ जैवस्काइला के रिसर्चर्स ने 1,455 पार्टिसिपेंट्स के साथ 21 स्टडी की समीक्षा की और पाया कि एथलेटिक लोगों की याददाश्त लगातार उन लोगों की तुलना में बेहतर थी जो कम एक्टिव थे, इंडी 100 की रिपोर्ट.


मेटा-एनालिसिस एक ही सब्जेक्ट पर कई स्टडी के निष्कर्षों को मिलाकर बड़े रिजल्ट पर पहुंचता है. रिसर्चर्स ने मैमोरी और एथलेटिक एक्टिविटीज के बीच एक क्लीयर संबंध पाया: एक्टिव  लोगों की मैमोरी बेहतर होती है, जबकि आलसी लोगों की मैमोरी खराब होती है. यह विशेष रूप से वर्किंग मैमोरी के लिए सच है, जो लोगों को किसी काम पर फोकस करने और काम करते समय इसके बारे में छोटी-छोटी जानकारी याद रखने में मदद करती है.


बास्केटबॉल, बेसबॉल या तलवारबाजी जैसे खेल याददाश्त और प्रॉबलम सॉल्विंग स्किल को बेहतर बनाने में मदद करते हैं, जबकि इनएक्टिविटी याददाश्त को कमजोर कर सकती है और सीखना ज्यादा कठिन बना सकती है.  


आलस सिर्फ पढ़ाई को ही प्रभावित नहीं करता-यह इमोशनल और मेंटल हेल्थ को भी नुकसान पहुंचा सकता है. एक गतिहीन लाइफस्टाइल अक्सर कम मोटिवेशन और नेगेटिव सेल्फ एस्टीम की ओर ले जाती है, जिससे स्टूडेंट्स के लिए बिजी और प्रॉडक्टिव बने रहना मुश्किल हो जाता है. उद्देश्य की साफ समझ के बिना, वे अपनी एजुकेश के फायदों से चूक सकते हैं.  


लगातार फिजिकल एक्टिविटी मोटिवेशन को फिर से जगा सकती है और ओवरऑल हेल्थ में सुधार कर सकती है. एक एक्टिव मन और शरीर एक साथ काम करते हैं, जिससे एक पॉजिटिव साइकल बनता है जो लर्निंग और ग्रोथ को बढ़ावा देता है. दूसरी ओर, आलस इस नींव को कमजोर करता है, इमोशनल, स्प्रिचुअल और इंटलैक्चुअल प्रोग्रेस को सीमित करता है. आलसी होना ऐसा लग सकता है कि यह नुकसान नहीं पहुंचा रहा है, लेकिन इसके लॉन्ग टर्म प्रभाव स्टूडेंट्स को पीछे धकेल सकते हैं.


कहानी स्कूल टीचर की जो पहले ही अटेंप्ट में UPSC क्रैक कर बन गई IPS अफसर


BPSC Success Story: मां आंगनबाड़ी में करती हैं काम पापा चलाते हैं कोचिंग सेंटर, बेटे ने टॉप किया BPSC 69वीं CCE