First Engineering College of India: भारत के ज्यादातर युवा जो इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने के लिए देश के प्रतिष्ठित संस्थानों में पाने की ख्वाहिश रखते हैं.  इन टॉप कॉलेजों में भी युवाओं का सबसे पसंदीदा संस्थान आईआईटी होता है. इंजीनियरिंग में करियर वाले स्टूडेंट्स की पहली प्राथमिकता आईआईटी है.


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आज हम आपको देश के सबसे पहले इंजीनियरिंग कॉलेज के बारे में बताने जा रहे हैं. यह ऐसा संस्थान है, जहां से इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने वाले युवाओं को बेहतरीन सैलरी पैकेज मिलता है. हम बात कर रहे हैं आईआईटी रुड़की की, जहां इंजीनियरिंग कोर्सेस में एडमिशन मिलने छात्रों की लाइफ बन जाती है...


देश का सबसे पुराना इंजीनियरिंग कॉलेज
आईआईटी रुड़की भारत का सबसे पुराना इंजीनियरिंग कॉलेज है, जिसका नाम आज देश के टॉप इंजीनियरिंग कॉलेजों की लिस्ट में सबसे ऊपर आता है. यहां दाखिला पाने के लिए छात्रों के बीच बड़ी मारामारी रहती है. यहां से पढ़ाई के बाद युवाओं को कोई छोटी-मोटी नौकरी नहीं, बल्कि लाखों रुपये महीने का शुरुआती पैकेज मिलता है. हालांकि, आईआईटी रुड़की में दाखिला पाना बिल्कुल भी आसान नहीं है. इसके लिए आपको इंजीनियरिंग के एंट्रेस एग्जाम में बेहतरीन स्कोर हासिल करना पड़ता है.


किसी और नाम से हुई थी स्थापना
देश के इस सबसे पुराने इंजीनियरिंग संस्थान की स्थापना साल 1847 में हुई थी, जिसका नाम थॉमसन कॉलेज हुआ करता था. अब इस संस्थान को यूनिवर्सिटी ऑफ रुड़की या फिर इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के नाम से जाना जाता है. यहां पढ़ने के लिए अच्छी रैंक के साथ एंट्रेंस एग्जाम क्वालीफाई करना जरूरी है. आईआईटी रुड़की में कैंपस प्लेसमेंट ड्राइव में स्टूडेंट को 2.05 करोड़ रुपये सालाना का पैकेज मिलने का भी रिकॉर्ड है, जो संस्थान के इतिहास का सबसे बड़ा इंटरनेशनल पैकेज है.


इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी  से इंजीनियरिंक के लिए जेईई मेन्स देना पड़ता है. इस एग्जाम को क्वालिफाई करने के बाद जेईई एडवांस भी निकालना पड़ता है. आईआईटी जेईई एग्जाम का आयोजन भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थानों में यूजी कोर्सेस में एडमिशन के किया जाता है.