नई दिल्‍ली : आम आदमी पार्टी ने बुधवार को अपने राज्यसभा उम्मीदवारों के तौर पर संजय सिंह, सुशील गुप्ता और एनडी गुप्ता को नामित किया. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के आवास पर हुई एक बैठक में यह निर्णय लिया गया. संजय सिंह पार्टी गठन के समय से ही उससे जुड़े हुए हैं, जबकि सुशील गुप्ता दिल्ली के एक कारोबारी हैं. सबसे बड़ी बात यह रही कि पार्टी के संस्‍थापक सदस्‍य कुमार विश्‍वास को अनदेखा कर उन्‍हें नामित ही नहीं किया गया. इसके बाद कुमार विश्‍वास ने मीडिया से बातचीत करते हुए खुलकर अरविंद केजरीवाल के खिलाफ आवाज उठाई. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

पढ़िए, उनके द्वारा कही गईं 11 मुख्‍य बातें...


-पिछले कुछ समय से अरविंद केजरीवाल के कई निर्णय चाहें वो सर्जिकल स्‍ट्राइक हो, चाहें आंतरिक भ्रष्‍टाचार से आंख फेरना हो, चाहे पंजाब में अतिवादियों के प्रति सॉफ्ट रहना हो, टिकट वितरण में गड़बडी का मामला हो, कार्यकर्ताओं की उपेक्षा हो, चाहे सैनिकों का विषय हो या जेएनयू का विषय हो, मैंने जो-जो सच बोला आज उसका पुरस्‍कार मुझे दंड स्‍वरूप दिया गया. इसके लिए मैं स्‍वयं का आभार व्‍यक्त करता हूं.


-मैं ये मानता हूं कि ये नैतिक रूप से एक कवि की, एक मित्र की, एक सच्‍चे आंदोलनकारी और क्रांतिकारी की जीत है.


-मैं पिछले 40 वर्ष से मनीष सिसोदिया, 12 वर्ष से अरविंद केजरीवाल, 7 साल से कार्यकर्ताओं के साथ काम कर रहे और पांच साल से लगातार पार्टी के हर विधायक के साथ रैलियां कर-करके, ट्वीट कर करके, मीडिया में बहस कर करके जिन्‍होंने पार्टी को आज खड़ा किया है, ऐसे महान क्रांतिकारी, आंदोलनकारियों की आवाज सुशील गुप्‍ता को राज्‍यसभा में भेजने के लिए अरविंद केजरीवाल ने चुना है. इसके लिए मैं अरविंद जी को बधाई देता हूं.


-एक दूसरे एनडी गुप्‍ता को भी पार्टी ने राज्‍यसभा के लिए भेजा गया है, इसके लिए भी आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं को बधाई.


-कुछ माह पहले में मुझे राष्‍ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में बुलाकर अरविंद केजरीवाल ने कहा था, आपको मारेंगे पर शहीद नहीं होने देंगे.


-मैं अपनी शहादत स्‍वीकार करता हूं.


-युद्ध का एक नियम होता है कि शहीदों के शव से छेड़छाड़ नहीं की जाती.


-आपसे (अरविंद केजरीवाल से) असहमत होकर वहां (आम आदमी पार्टी में) जीवित रहना मुश्किल है.


-सबको लड़ने ही पड़े अपने-अपने युद्ध, चाहे राजा राम हों चाहे गौतम बुद्ध. 


-सबकी लड़ाईयां अकेली हैं. मैं अपनी लड़ रहा हूं, आप अपनी लड़ रहे हैं.


-उस राज्‍यसभा में जहां अटल जी और इंदिरा जी जैसे लोगों की आवाज गूंजी हैं, राज्‍यसभा में इन दोनों (एनडी गुप्‍ता और संजीव गुप्‍ता) को भेजने के लिए मैं अरविंद और पार्टी के लोगों को बधाई देता हूं.


पढ़ें- राज्‍यसभा चुनाव : केजरीवाल ने कुमार पर क्‍यों नहीं किया 'विश्‍वास', ये रही सबसे बड़ी वजहें