जेल से बाहर आना चाहते हैं अनिल देशमुख और नवाब मलिक, जानें कोर्ट में दी क्या अर्जी
Maharashtra MLC Election: अनिल देशमुख और नवाब मलिक एमएलसी चुनाव में वोट देने के लिए जेल से रिहा होना चाहते हैं इसके लिए दोनों नेताओं ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है.
Maharashtra MLC Election: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के जेल में बंद विधायक नवाब मलिक और अनिल देशमुख ने सोमवार को बम्बई उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया और महाराष्ट्र विधान परिषद (एमएलसी) के चुनाव में वोट डालने के लिए 20 जून को एक दिन के लिए जेल से रिहा किये जाने का अनुरोध किया. देशमुख और मलिक 10 जून को हुए राज्यसभा चुनाव में अपना वोट नहीं डाल सके थे, क्योंकि एक विशेष अदालत ने उन्हें चुनाव प्रक्रिया में भाग लेने के लिए रिहा करने से इनकार कर दिया था.
दोनों नेताओं ने कोर्ट में क्या याचिका डाली?
दोनों ने अब एमएलसी चुनाव में वोट डालने के लिए 20 जून को एक दिन के लिए जेल से रिहा किये जाने का अनुरोध किया है. महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री देशमुख ने इस साल की शुरुआत में दायर की गई अपनी जमानत याचिका में जेल से एक दिन की रिहाई के अनुरोध के साथ आवेदन दाखिल किया है. राकांपा नेता के आवेदन का उल्लेख उनके वकील इंद्रपाल सिंह ने न्यायमूर्ति एन. जे. जामदार की एकल पीठ के समक्ष किया. न्यायमूर्ति जामदार ने मामले की सुनवाई के लिए 15 जून की तारीख तय की. न्यायमूर्ति भारती डांगरे की एकल पीठ के समक्ष मौजूदा कैबिनेट मंत्री मलिक की याचिका का उल्लेख किया गया.
दोनों मामलों की सुनवाई 15 जून को
उनके वकील कुशल मोर ने मलिक की याचिका को देशमुख के आवेदन के साथ ‘टैग’ करने और दोनों मामलों की सुनवाई 15 जून को न्यायमूर्ति जामदार द्वारा करने की अनुमति मांगी. न्यायमूर्ति डांगरे ने मोर को 14 जून (मंगलवार) को मामले का उल्लेख करने को कहा. मलिक के वकीलों तारक सईद और कुशल मोर ने शुरू में राज्य के मंत्री द्वारा दायर एक पूर्व याचिका में संशोधन करने का अनुरोध किया था, जिसमें विशेष अदालत के आदेश को चुनौती दी गई थी, जिसमें उन्हें 10 जून को राज्यसभा चुनाव में मतदान के लिए रिहा करने से इनकार कर दिया गया था. सईद ने सोमवार को न्यायमूर्ति पी. डी. नाइक की एकल पीठ से कहा कि वे याचिका में संशोधन करने और 10 जून की तारीख को 20 जून करने का आग्रह कर रहे हैं.
एक और चुनाव के लिए रिहाई..
सईद ने कहा कि 20 जून को एक और चुनाव होने वाला है. हम केवल एक ही संशोधन करेंगे, वह है तारीख में बदलाव. (याचिका में की गई) अन्य सभी प्रार्थनाएं , वही रहेंगी. हालांकि, न्यायमूर्ति नाइक ने कहा कि इस तरह का संशोधन नहीं किया जा सकता है, क्योंकि उद्देश्य बदल गया है. न्यायमूर्ति नाइक ने कहा कि आप (मलिक) जिस चुनाव के लिए 10 जून को वोट करना चाहते थे, वह खत्म हो गया है. अब, आप एक और चुनाव के लिए रिहाई की मांग कर रहे हैं. जिससे यह याचिका निष्फल हो जाती है. आपको एक नई याचिका दायर करनी होगी. गौरतलब है कि प्रवर्तन निदेशालय ने भगोड़े गैंगस्टर दाऊद इब्राहिम और उसके सहयोगियों की गतिविधियों से जुड़ी धन शोधन जांच के सिलसिले में इस साल 23 फरवरी को मलिक को गिरफ्तार किया था.
(इनपुट एजेंसी)
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