वाहनों पर लगवाते हैं पुलिस, प्रेस या एडवोकेट का स्टीकर तो हो जाएं सावधान, जानिए पूरा मामला
पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट द्वारा चंडीगढ़ में वाहनों पर वीआईपी निशान और पदनाम वाले स्टीकर आदि पर प्रतिबंध के जो आदेश जारी किए थे, अब उन्हें हरियाणा और पंजाब में भी लागू करवाने की अपील करते हुए हाईकोर्ट में अर्जी दाखिल की गई है.
चंडीगढ़: पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट द्वारा चंडीगढ़ में वाहनों पर वीआईपी निशान और पदनाम वाले स्टीकर आदि पर प्रतिबंध के जो आदेश जारी किए थे, अब उन्हें हरियाणा और पंजाब में भी लागू करवाने की अपील करते हुए हाईकोर्ट में अर्जी दाखिल की गई है. गुरुग्राम निवासी दिनेश कुमार डाकोरिया ने अपने एप्लीकेशन में अपील की है कि हाईकोर्ट ने 24 जनवरी को वाहनों पर लगे पदनाम स्टीकर हटाने को लेकर जो आदेश दिए थे वे सिर्फ चंडीगढ़ तक ही सीमित हैं. इसका दायरा बढ़ाते हुए पंजाब और हरियाणा में भी इन आदेशों को लागू किया जाए. ताकि पंजाब और हरियाणा में भी वीआईपी कल्चर खत्म हो. याचिकाकर्ता वकील दिनेश कुमार की अर्जी पर 28 फरवरी को सुनवाई होगी.
गुरुग्राम निवासी दिनेश कुमार डाकोरिया ने हाईकोर्ट में अर्जी दायर कर इस केस में दोनों राज्यों को भी पार्टी बनाने की मांग की है. याचिकाकर्ता वकील दिनेश कुमार के सहयोगी वकील एस एस वर्मा ने बताया कि अर्जी में मांग की गई है कि वाहनों पर पदनाम स्टीकर हटाने को लेकर जो आदेश दिए थे वे सिर्फ चंडीगढ़ में ही नहीं पंजाब और हरियाणा में लागू किए जाएं. उन्होंने कहा कि भले ही पंजाब और हरियाणा सरकार ने खुद हाईकोर्ट के आदेशों का संज्ञान लेते हुए पदनाम स्टीकर हटाने को लेकर अधिसूचना जारी की है लेकिन हाईकोर्ट के आदेशों के बाद ही ये सख़्ती से लागू हो पाएंगे. उन्होंने कहा वीआईपी कल्चर की समस्या सिर्फ चंडीगढ़ की नहीं बल्कि पंजाब और हरियाणा की भी है. इसके साथ ही दोनों राज्यों में पार्किंग की समस्या से निजात दिलाने के लिए पार्किंग पॉलिसी तैयार करने के आदेश जारी करने की भी अपील की है.
वकील एस एस वर्मा ने बताया कि दोनों राज्यों के निवासी अपने वाहनों पर प्रेस, पुलिस, वकील, प्रधान, मेयर आदि के स्टीकर और तख्तियां लगा कर रखते हैं. इस पर पूरी तरह से पाबंदी लगाई जानी चाहिए. याची ने साथ ही चंडीगढ़ की तर्ज पर पंजाब व हरियाणा में भी पार्किंग पॉलिसी बनाने के आदेश जारी करने की अपील की है. वकील एस एस वर्मा ने बताया कि पंजाब और हरियाणा में वाहनों की पार्किंग एक बड़ी समस्या है और लोग घरों के बाहर सड़कों पर वाहन खड़े कर देते हैं. इससे न सिर्फ ट्रैफिक कंजेशन बढ़ता है बल्कि अक्सर दुर्घटनाएं भी होती हैं. हाईकोर्ट ने चंडीगढ़ में तो ऐसे वाहनों को तत्काल टो करने के आदेश दे दिए हैं लेकिन यह आदेश पंजाब और हरियाणा के लिए नहीं है.
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बता दें कि हालही में पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने आदेश दिए थे कि वाहनों पर पुलिस, डीसी, जज, एडवोकेट, मेयर, विधायक, चेयरमैन, आर्मी, एयरफोर्स, नेवी, डॉक्टर, प्रेस आदि न लिखें. अगर पहले से लिखवा रखा है तो फौरन उसे हटा दें. पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट के आदेश के अनुसार सरकारी या निजी किसी भी वाहन (एंबुलेंस और फायर ब्रिगेड को छोड़कर) पद व नाम अंकित नहीं होना चाहिए. हाईकोर्ट ने कहा था कि सड़क पर हर व्यक्ति समान है.
जस्टिस राजीव शर्मा और जस्टिस अमोल रतन सिद्धू की बैंच ने टिप्पणी करते हुए कहा था वाहन पर विभाग या पद का नाम लिखकर अपनी वीआईपीगीरी को झाड़ना अच्छी बात नहीं है. ऐसा करने वाले वाहन चालकों पर ट्रैफिक पुलिस सख्ती से कार्रवाई करे. हालांकि वाहन पर पार्किंग स्टीकर, बच्चों के नाम, धार्मिक चिन्ह वाले स्टीकर लगाने पर कोई पाबंदी नहीं है.