Lok Sabha Election 2024: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह को मौजूदा दौर की भारतीय राजनीति का चाणक्य कहा जाता है. उनके बारे में एक बात मजाकिया तौर पर बहुत कही जाती है कि अगर वह (अमित शाह) पाकिस्तान चले जाएं तो वहां भी बीजेपी की सरकार बनाकर लौटेंगे. अब तो अमित शाह की पाठशाला से निकले छात्र भी विपक्ष की हालत खराब करने में लगे हैं. शाह के शागिर्द कहे जाने वाले विनोद तावड़े का कद बीजेपी में बड़ी तेजी बढ़ रहा है. बीजेपी ने विनोद तावड़े को बिहार का इंचार्ज उस वक्त बनाया था, जब नीतीश कुमार धोखा देकर महागठबंधन के साथ चले गए थे. ऐसे मुश्किल वक्त में तावड़े ने ना सिर्फ पार्टी में बिखराव को रोक बल्कि एनडीए का भी दायरा बढ़ाया. नीतीश कुमार की जब वापसी हुई तब चिराग पासवान, उपेंद्र कुशवाह और जीतन राम मांझी तीनों अलग राह चुनने की तैयारी करने लगे थे. लेकिन विनोद तावड़े ने सभी को एकजुट रखने में कामयाबी हासिल की. 


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एनडीए में सीट शेयरिंग के दौरान मचे घमासान को भी संभालने में उनकी अहम भूमिका रही. पशुपति पारस नाराज हुए तो उनकी पार्टी के अन्य नेताओं को साध लिया. इनमें पारस के भतीजे प्रिंस राज पासवान भी शामिल हैं. इस दौरान वह विपक्ष को झटका देने से भी नहीं चूकते रहे. उन्होंने झारखंड में हेमंत सोरेन के परिवार में भी सेंधमारी कर दी और उनकी भाभी सीता सोरेन को बीजेपी में शामिल करा लिया. बिहार-झारखंड के अलावा विनोद तावड़े अन्य राज्यों में भी एक्टिव हैं. हाल भी में उन्होंने पंजाब में आम आदमी पार्टी के एक सांसद और एक विधायक को तोड़कर अपनी पार्टी की सदस्यता दिला दी. 


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बता दें कि विनोद तावड़े की काबिलियत को देखते हुए ही बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने उन्हें अपनी टीम में शामिल किया था. मिशन 2024 के लिए उन्हें बिहार की जिम्मेदारी सौंपी गई थी. उनके पास आज 144 लोकसभा सीटों की जिम्मेदारी है, इस पर बीजेपी काफी कम अंतर से हारी थी. इससे पहले वह हरियाणा और पश्चिम बंगाल में भी पार्टी की जिम्मेदारियों को सफलतापूर्वक निभा चुके थे. बता दें कि तावड़े मूलरूप से महाराष्ट्र के रहने वाले हैं और फिलहाल बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री हैं. वह बचपन से ही संघ से जुड़े हुए हैं. महाराष्ट्र में वह संगठन और सरकार दोनों में अपनी भूमिका निभा चुके हैं.