...ताकि गाली न बने बिहारी`, पटना हाईकोर्ट में दुर्व्यवहार को लेकर याचिका दायर
याचिका इंजीनियर विजय प्रभात ने दायर की है. उन्होंने याचिका में बताया कि बिहार के लोगों के साथ राज्य के बाहर लगभग कई राज्यों में बुरा व्यवहार होता रहा है.
पटना: बीते दिनों तमिलनाडु में हुए बिहार के मजदूरों से हुए बुरे व्यवहार के बाद बिहार की सियासत में भूचाल है. बिहार सरकार ने 4 लोगों की एक टीम वहां भेजी है, वहीं पटना उच्च न्यायालय में 4 मार्च 2023 को एक जनहित याचिका भी दायर की गई है. इस याचिका में बाहर के अन्य राज्यों में बिहार के निवासियों के साथ हो रहे दुर्व्यवहार के मुद्दे को जोड़ कर कोर्ट में PIL दायर किया गया है. इस जनहित याचिका को इंजीनियर विजय प्रभात ने पटना हाई कोर्ट में दायर किया है.
हाई कोर्ट में दायर याचिका में क्या ?
यह याचिका इंजीनियर विजय प्रभात ने दायर की है. उन्होंने याचिका में बताया कि बिहार के लोगों के साथ राज्य के बाहर लगभग कई राज्यों में बुरा व्यवहार होता रहा है. बिहार के लोगों के साथ पिछले कई सालों में ऐसे बुरे व्यवहार के मामले सामने आ रहे हैं. यहां तक के उनके ऊपर अत्याचार भी होता रहा है. अब इनके साथ तमिलनाडु में हो रहे अत्याचार का मामला सामने आ रहा है. उन्होंने कहा कि इसे लेकर पटना हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर किया है. उन्होंने कहा कि दायर 'पीआईएल में मैंने बिहार सरकार से एक ऐसी व्यवस्था विकसित करने की मांग की है जिसमें बिहार के बाहर गए लोगों को बिहार में ही स्वास्थ्य व्यवस्था, रोजगार और शिक्षा जैसी चीजें उपलब्ध हो सके, क्योंकि बिहार के बाहर गए लोगों को बिहारी गाली के रूप में दी जाती है.'
इंजीनियर विजय प्रभात सुशांत सिंह राजपूत मामले में भी कोर्ट में पीआईएल दायर कर चुके हैं. विजय प्रभात ने तमिलनाडु से सामने आ रहे मामले को लेकर पटना हाईकोर्ट में पीआईएल दायर किया है. उनका कहना है बिहार के बाहर बिहार के नागरिकों को केवल गालियां मिली हैं.