पटना : बिहार में राजनीतिक सरगर्मी तेज है. पहले से ही बिहार की सियासत में एक के बाद एक सियासी दलों की बयानबाजी की वजह से तूफान खड़ा हुआ है. ऊपर से एक ऑडियो क्लिप के वायरल होने के बाद से ही फिर से एक बार सियासी हंगामा बरपना शुरू हो गया है. दरअसल बिहार में 14 जून 2021 को स्वर्गीय राम विलास पास्वान की पार्टी लोक जनशक्ति पार्टी दो भागों में बंट गई थी. बता दें कि इस पार्टी के दो भागों में टूटने की वजह से खूब सियासी हंगामा हुआ था. 


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लोजपा के दो धड़े एक रामविलास पासवान के भाई पशुपति कुमार पारस के साथ थे और दूसरी रामविलास के बेटे चिराग पासवान के साथ. पशुपति कुमार पारस के साथ 5 सांसद अलग हो गए थे. वहीं तब सांसद के तौर पर अलग होने के बाद चिराग पासवान अकेले रह गए थे. वह जमुई से सांसद हैं. उस समय भी जदयू पर आरोप लगा था कि लोजपा को तोड़ने का काम जदयू ने किया है. 
 
चिराग और उनके समर्थक मुखर होकर इस बात को कह रहे थे कि जदयू के इशारे पर ही उनकी पार्टी टूटी है. अब इस बात को 20 महीने गुजर चुके हैं लेकिन एक बार फिर से इसको लेकर बवाल शुरू हो गया है. इस बार जो आग सुलगी है उसकी आंच सीधे नीतीश कुमार तक पहुंच रही है. पशुपति कुमार पारस को लेकर एक वायरल ऑडियो में दावा किया जा रहा है कि वह नीतीश कुमार के इशारे पर पार्टी को तोड़ने के लिए तैयार हुए और वह नीतीश के एजेंट हैं. नीतीश के कहने पर ही लोजपा का तोड़ा गया. 


इस वायरल ऑडियो में यह भी कहा जा रहा है कि पशुपति कुमार पारस से नीतीश कुमार सीधे संपर्क में थे, उन्हें उनकी तरफ से केंद्रीय मंत्री बनाए जाने का लालच दिया गया और उन्होंने इसे स्वीकार कर लिया. 


दरअसल, इस कुछ सेकेंड के वायरल ऑडियो की वजह से ही इतना बवाल मचा है. जिसमें पारस के सबसे खास और इधर चिराग के करीबी के बीच बातचीत हो रही है. जिसमें यह सारी बात कही गई है. वायरल ऑडियो फोन टेपिंग का होने का दावा किया जा रहा है जिसमें पारस के पुत्र के करीबी हीरा झा तो दूसरी तरफ चिराग पासवान के दोस्त सौरभ पांडेय की बातचीत का दावा किया जा रहा है. इस ऑडियो के लीक होने से लोजपा के चिराग समर्थक यह कहने लगे हैं कि इसकी वजह से केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस एक्सपोज्ड हो गए हैं. 


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