Dumka: Ankita Murder Case : दुमका के अंकिता हत्या मामले में पुलिस ने दोनों आरोपी शाहरुख हुसैन और नईम खान उर्फ छोटू को 72 घंटे की रिमांड पर लिया है. पुलिस एसआईटी की टीम दोनों आरोपियों से पूछताछ करेंगी. बता दें कि अंकिता के समर्थक में समाजसेवी से लेकर राजनेता तक मैदान में उतर गए है. हर कोई अरोपियों के लिए सरकार और प्रशासन से फांसी की मांग कर रहा है. अब देखना है कि अंकिता को कब तक इंसाफ मिलेगा.


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जानें क्या है पूरा मामला
बता दें कि 22 अगस्त की रात आरोपी शाहरुख अंकिता को फोन करता है और उसे जान से मारने की धमकी देता है. फोन करने के कुछ ही घंटे के बाद मंगलवार सुबह पांच बजे घर के सभी लोग सो रहे थे, तभी शाहरुख ने कमरे में अकेले सो रही अंकिता पर खिड़की के जरिए पेट्रोल छिड़का और उसके बाद आग लगा दी. आग में जलती हुई अंकिता ने जब शोर मचाया तो घर में परिवार के अन्य सदस्य भी जाग गए. परिजनों ने जैसे-तैसे आग बुझाई और पुलिस को सूचना देकर अस्पताल में भर्ती कराया. पुलिस ने शाहरुख को उसी दिन गिरफ्तार कर लिया था और उसके कुछ दिन बार दूसरे आरोपी नईम खान को भी पुलिस ने पकड़ लिया. पुलिस ने दोनों ही आरोपी को 72 घंटे के लिए रिमांड पर लिया है.


अंकिता के समर्थन में उतरे नेता और समाजसेवी
अंकिता की मौत के बाद हर कोई उसे इंसाफ दिलाने में जुट गया है. राजनेता से लेकर समाजसेवी सड़क पर उतरकर अंकिता को इंसाफ दिलाने का प्रयास कर रहा है. इस मामले में मंत्री जगरनाथ महतो ने कहा, बड़ा दुखद घटना है, निर्ममता के साथ घटना हुई है ,पर कानून काम करेगा, गिरफ्तारी हो चुकी है. फास्ट ट्रैक कोर्ट चलवा कर सजा दिलाने का प्रयास किया जाएगा. सरकार मजबूती से अपना पक्ष रखेगा. वहीं जेएमएम विधायक नीरल पूर्ति ने कहा, इस मामले में प्रशासन अपना काम कर रही है. विधायक दीपक बिरुआ ने कहा, जो दोषी हैं बचेंगे नहीं. सरकार काम कर रही है ,राजनीतिक मुद्दा बनाने की आवश्यकता नहीं है. जो स्थिति हुई है कार्रवाई निश्चित है. 


साथ ही इस मामले में मंत्री मिथलेश ठाकुर ने कहा कि हम अपनी जिम्मेदारी को अच्छी तरह समझते हैं, अपराधी की कोई जात-धर्म नहीं होती है. जिस परिवार की बेटी बिछड़ी, घटना में दोषी और संलिप्त को कम अवधि में स्पीडी ट्रायल से सजा दिलाई जाएगी. गिरफ्तारी हुई है, विपक्ष अलग तूल देना चाहती है, दुमका की जनता न्याय चाहती है और आश्वस्त करना चाहते हैं कम अवधि में परिवार को न्याय मिलेगा.


इस हादसे को लेकर लोगों में है गुस्सा
बता दें कि लोग इस बात पर भी गुस्से में हैं कि अंकिता जब अस्पताल में जिंदगी-मौत से जूझ रही थी, तब सरकार के किसी नुमाइंदे ने उसकी और उसके परिजनों की सुध नहीं ली. अंकिता की मौत के पहले उसके बयान का एक वीडियो वायरल हो रहा है. अंकिता के समर्थन में हजारों लोग सड़कों पर उतर आये. बता दें कि घटना के बाद आज भी शहर में तनाव है. इसे देखते हुए प्रशासन ने पूरे शहर में धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी है. इधर दुमका के डीसी रविशंकर शुक्ला ने कहा है कि पीड़िता को न्याय दिलाने के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट में सुनवाई का आग्रह किया जायेगा.


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