हजारीबाग:  झारखंड के हजारीबाग जिले में 100 एकड़ से अधिक भूमि पर अवैध रूप से उगाए गए अफीम के पौधों को कड़ी सुरक्षा के बीच नष्ट कर दिया गया. पुलिस के एक अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी. 


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बरही के उपमंडल पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) नजीर अख्तर ने बताया कि चौपारण क्षेत्र के कई गांवों में अफीम के पौधों को नष्ट करने का शनिवार को शुरू किया गया अभियान दिन में पूरा हो गया. उन्होंने बताया कि इन पौधों की कीमत 15 करोड़ रुपये होने का अनुमान लगाया गया है. उन्होंने बताया कि भूमि पर लगे अफीम के पौधों को नष्ट करने के दौरान लगभग 200 पुलिस और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवान मौजूद थे. 


एसडीपीओ ने कहा कि 10 जनवरी को बिहार-झारखंड सीमा क्षेत्र में पौधों को नष्ट करने गई वन विभाग की 40 सदस्यीय टीम पर अवैध रूप से इसकी खेती करने वाले ग्रामीणों और असामाजिक तत्वों द्वारा हमला किए जाने के बाद पुलिस ने इसे एक चुनौती के रूप में लिया. उन्होंने बताया कि उक्त हमले में 12 वन कर्मियों को चोटें आईं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा. उन्होंने बताया कि हमलावर उस दिन वन विभाग के कर्मचारियों का एक ट्रैक्टर और तीन दोपहिया वाहन भी छीन ले गए थे. 


बरही के उपमंडल पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) नजीर अख्तर ने कहा, "हम उन्हें सबक सिखाना चाहते थे. उन्होंने सरकारी आदेश की अवहेलना करने और पौधे उगाने का साहस किया. हमने अफीम के पौधों को नष्ट कर दिया है, जिसकी कीमत 15 करोड़ रुपये होने का अनुमान है." उन्होंने बताया कि जब सुरक्षाकर्मी शनिवार को अभियान के लिए इलाके में दाखिल हुए तो खेती करने वाले भाग गए. एसडीपीओ ने कहा कि हालांकि, आरोपियों की पहचान कर ली गई है और इस संबंध में एक प्राथमिकी दर्ज की गई है. 


(इनपुट भाषा के साथ)