नई दिल्‍ली:  इस महीने Zee News को 26 वर्ष हो चुके हैं और आज हमने इस यात्रा की दूसरी इंस्‍टॉलमेंट आपके लिए तैयार की है. आज एक बार फिर हम आपको ख़बरों के उस स्वर्णिम काल में लेकर चलेंगे. जब ख़बर का मतलब Zee News होता था.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

Zee News भारत का पहला प्राइवेट न्यूज चैनल है. मार्च 1995 में हमने भारत को पहला प्राइवेट न्यूज बुलेटिन दिया था. ज़ी न्‍यूज़ और आपके बीच 26 साल पुराने इसी रिश्ते पर हमने एक सीरीज शुरू की है, जिसमें हम इन्हीं यादों को रिवाइंड  करके आपसे शेयर कर रहे हैं. आज हम आपके लिए इसकी दूसरी इंस्‍टॉलमेंट लेकर आए हैं.


आज हम आपको प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के उस इंटरव्‍यू के बारे में बताएंगे, जो उन्होंने गुजरात का मुख्यमंत्री बनने के बाद ज़ी न्‍यूज़ को दिया था. इससे पहले नरेंद्र मोदी दिल्ली की राजनीति में सक्रिय थे.अक्टूबर 2001 में उन्हें अचानक गुजरात का मुख्यमंत्री बनाया गया और इससे पहले केशुभाई पटेल राज्य के मुख्यमंत्री थे.


नरेंद्र मोदी की कैबिनेट को लेकर उठे थे सवाल


नरेंद्र मोदी जब गुजरात पहुंचे तो कहा गया कि दिल्ली से उन्हें पैराड्रॉप किया गया है. तब हमने यही सवाल नरेंद्र मोदी से भी किया था, जिसका जवाब उन्होंने बेहद तर्क के साथ दिया. उस समय नरेंद्र मोदी की कैबिनेट को लेकर भी सवाल उठे थे और आरोप लगाया गया था कि उनकी कैबिनेट जरूरत से ज्यादा बड़ी है. इस सवाल का जवाब भी नरेंद्र मोदी ने बेहद रोचक तरीके से दिया था. 


गुजरात में रामराज्य पर कही ये बात 


इस इंटरव्यू का एक अंश ऐसा भी है, जो कभी पुराना नहीं हो सकता क्योंकि, उस समय हमने नरेंद्र मोदी से ये पूछा था कि क्या गुजरात में रामराज्य है? इसका जवाब उन्होंने महात्मा गांधी से जोड़कर दिया था.


हमारे और आपके बीच 26 साल पुराने रिश्ते को रिवाइंड करते हुए आज हम आपको पीएम नरेंद्र मोदी के बीस साल पुराने इंटरव्यू का एक हिस्सा दिखाना चाहते हैं.


नरेंद्र मोदी जब पहली बार गुजरात के मुख्यमंत्री बने, तब ये कहा जाता था कि जब वो दिल्ली में थे तो बहुत मीडिया फ्रेंडली थे, लेकिन मुख्यमंत्री बनने के बाद उनमें एरोगेंस आ गया. हमने ये सवाल जब नरेंद्र मोदी से किया तो वो मुस्कुराने लगे. हमने तब उनसे ये भी पूछा कि क्या मुख्यमंत्री बनने के बाद वो अपने आप में कुछ बदलाव देखते हैं. इस सवाल का तब उन्‍होंने काफी रोचक जवाब दिया था. 


नरेंद्र मोदी की मां हीरा बेन को शुरू से लगता था कि उनका बेटा देश का प्रधानमंत्री बनेगा. 9 दिसंबर 2002 को हीराबेन ने Zee News से बात की थी और इस बातचीत के दौरान तब उन्होंने ये कहा था कि नरेंद्र मोदी एक दिन जरूर भारत के प्रधानमंत्री बनेंगे.


गुजरात दंगों की सच्ची रिपोर्टिंग


भारत में साम्प्रदायिक दंगों का जब भी ज़िक्र होता है. तब तब गुजरात के दंगों की बात जरूर होती है. 2002 के उन दंगों का गवाह Zee News भी था और उस समय पूरे देश ने Zee News के ज़रिये गुजरात दंगों की सच्ची रिपोर्टिंग देखी थी और तब हमने देश को ये बताया था कि पत्रकारिता के असली मूल्य क्या होते हैं. 


जब भुज में आया था भयंकर भूकंप


आज से 20 साल पहले 2001 में गुजरात के भुज में भयंकर भूकंप आया था. 26 जनवरी को जब दिल्ली में गणतंत्र दिवस की परेड चल रही थी. उस दौरान भुज में जबरदस्त भूकंप आया था और आधा गुजरात मलबे के ढेर में नज़र आ रहा था. उस समय हमने न सिर्फ़ गुजरात के दर्द को आपके सामने रखा था, बल्कि उस दौर में Zee News भूकंप पीड़ितों  के साथ भी खड़ा हुआ था.  हमने तब बताया था कि कर्तव्य कभी भी जिम्‍मेदारियों को झुकाता नहीं है, बल्कि कर्तव्य निभाने के लिए जिम्मेदारियों अपनी ताकत बनाया जा सकता है और Zee News पिछले 26 वर्षों से ऐसा कर रहा है.


बंगाल में चुनावी हिंसा


पश्चिम बंगाल में विधान सभा चुनाव को लेकर उथल-पुथल मची हुई है और इसी के साथ वहां राजनीतिक हिंसा भी शुरू हो गई है. हालांकि बंगाल में चुनावी हिंसा नई बात नहीं है. आज से 20 साल पहले भी वहां ऐसी ही हिंसा होती थी. उस वक्त भी Zee News उसे ईमानदारी से आप तक पहुंचाता था, जो हम आज भी कर रहे हैं.


संसद पर आतंकवादी हमला 


वर्ष 2001 में भारत की संसद पर हुआ आतंकवादी हमला देश कभी नहीं भूल सकता और 13 दिसंबर 2001 का वो दिन मैं भी (ज़ी न्‍यूज़ के एडिटर-इन-चीफ सुधीर चौधरी)  आज तक नहीं भूला हूं क्योंकि, इस हमले के दौरान मैं (ज़ी न्‍यूज़ के एडिटर-इन-चीफ सुधीर चौधरी) भी संसद भवन परिसर में मौजूद था. वो शुक्रवार का दिन था और संसद की कार्यवाही चल रही थी. सुबह करीब पौने बारह बजे थे कि अचानक वहां गोलियां चलने लगीं. मैंने वो सब कुछ अपनी आंखों से देखा और आपके लिए उसकी रिपोर्टिंग की. आज जब आपके और Zee News के इस रिश्ते को 26 वर्ष पूरे हो गए हैं. 



कश्मीर में आतंकवादियों के साथ मुठभेड़


कश्मीर में आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ इन दिनों आम बात हो सकती है, लेकिन देश ने ऐसी मुठभेड़ की सीधी तस्वीरें पहली बार Zee News पर ही देखी थीं. ये बात वर्ष 2002 की है. जब कुछ आतंकवादी श्रीनगर के एक घर में छिप हुए थे और सेना के जवानों ने उन्हें चारों ओर से घेर लिया था. Zee News की टीम उस ऑपरेशन के दौरान वहीं मौजूद थी.


भारत ने पहली बार चार्ल्स शोभराज को Zee News पर ही देखा


अब आपको वर्ष 1995 के उस दौर में वापस लेकर चलते हैं. जब भारत के साथ विदेशों में भी कुख्यात अपराधी चार्ल्स शोभराज का डर था. लड़कियों से दोस्ती कर वो उनकी हत्या कर देता था. भारत ने पहली बार चार्ल्स शोभराज को Zee News पर ही देखा था. 



वर्ष 2003 में देश और असम के लिए ULFA उग्रवादी एक बड़ी समस्या थे. Zee News ने न सिर्फ हिंसक घटनाओं की रिपोर्टिंग की, बल्कि उसे खत्म करने के रास्ते भी देश को बताए. आज न्यूज एजेंसी ANI की एडिटर स्मिता प्रकाश ने तब वर्ष 2003 में Zee News के लिए रिपोर्टिंग की थी.