चंडीगढ़: अब किसान प्रदर्शन (Farmers Protest) के दौरान रेलवे ट्रैक पर कब्जा करेंगे तो उनके खिलाफ कार्रवाई हो सकती है. ट्रेन रोकने की कोशिश करने वाले किसानों के खिलाफ सरकार कार्रवाई कर सकती है, यह निर्देश पंजाब हरियाणा हाई कोर्ट (Punjab Haryana High Court) ने पंजाब सरकार (Punjab Government) को दिए हैं.


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कुछ जगहों पर नहीं चल पा रहीं ट्रेन
दरअसल कृषि कानूनों (Farm Laws) के खिलाफ किसान लगातार धरना प्रदर्शन (Farmers Protest) कर रहे हैं. किसान रेलवे ट्रैक (Railway Track) पर बैठे थे. हाई कोर्ट के आदेश पर केंद्र सरकार और पंजाब सरकार की किसानों से बातचीत के बाद किसानों ने रेलवे ट्रैक खाली कर दिए. इसके बावजूद अमृतसर के जंडियाला गुरु गांव में किसान रेलवे ट्रैक पर जमे रहे.


कोर्ट ने सुझाया था बातचीत का रास्ता
पिछली सुनवाई में हाई कोर्ट ने केंद्र सरकार के वकील सत्यपाल जैन पंजाब के एडवोकेट जनरल अतुल नंदा और किसानों के वकील बलतेज सिद्धू को किसानों से बात कर इस समस्या को सुलझाने के निर्देश दिए थे और कहा था कि किसानों से बातचीत करके उनको रेलवे ट्रैक से हटाया जाए.

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कोर्ट की सरकार को दो टूक
आज पंजाब हरियाणा हाई कोर्ट (Punjab Haryana High Court) में सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार (Central Government) के वकील धीरज जैन ने कोर्ट को बताया कि जंडियाला गुरु गांव में किसान माल गाड़ियों को तो जाने दे रहे हैं लेकिन अभी भी पैसेंजर ट्रेन नहीं चल पा रहीं. इस पर पंजाब सरकार ने कहा कि अब किसान जंडियाला गुरु रेलवे ट्रैक से उठ चुके हैं. कोर्ट ने पंजाब सरकार को कहा कि अब अगर मालगाड़ी या पैसेंजर ट्रेन चलाने को लेकर किसान बाधा खड़ी करें तो सरकार उन पर कार्रवाई कर सकती है.

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किसानों का अल्टीमेटम
बता दें, किसानों ने कहा था कि अगर केंद्र सरकार कृषि कानूनों को वापस नहीं लेती है तो 15 दिनों के बाद फिर से किसान रेलवे ट्रैक पर बैठेंगे. फिलहाल किसान संगठनों और केंद्र सरकार के मंत्रियों की मीटिंगों को का दौर जारी है.


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