नई दिल्ली: संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की सिविल सर्विस परीक्षा को सबसे कठीन परीक्षाओं में से एक माना जाता है और स्टूडेंट्स कड़ी मेहनत करनी पड़ती है, हालांकि कुछ स्टूडेंट्स ऐसे भी होते हैं, जो सारी मुश्किलों को पीछे छोड़कर सफलता हासिल कर लेते हैं. ऐसा ही हरियाणा के गुरुग्राम की रहने वाली निधि सिवाच (Nidhi Siwach) ने कर दिखाया और कड़ी मेहनत से आईएएस बन गईं. इसके लिए उन्होंने खुद को 6 महीने के लिए कमरे में बंद कर लिया था और घर में रहते हुए भी घरवालों से ज्यादा बात तक नहीं होती थी.


मैकेनिकल इंजीनियर बनने का किया फैसला


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हरियाणा के गुरुग्राम की रहने वाली निधि सिवाच (Nidhi Siwach) ने 10वीं के बाद इंजीनियरिंग में जाने का मन बनाया और 12वीं के बाद मैकेनिकल इंजीनियरिंग (Mechanical Engineering) में एडमिशन लिया. कहा जाता है कि मैकेनिकल इंजीनियरिंग सिर्फ लड़कों के लिए होता है, लेकिन निधि ने इसे गलत साबित किया और मैकेनिकल में डिग्री हासिल की.


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जॉब छोड़ शुरू की यूपीएससी की तैयारी


DNA की रिपोर्ट के अनुसार, मैकेनिकल इंजीनियरिंग के बाद निधि सिवाच (Nidhi Siwach) को हैदराबाद की एक कंपनी में जॉब मिल गई और वह हैदराबाद शिफ्ट हो गईं. 2 साल तक जॉब करने के बाद निधि के मन में आया कि वह इस जॉब के लिए नहीं बनी हैं और उन्हें कुछ अलग करना है. निधि का करियर लगभग सेट हो चुका था, लेकिन उन्होंने ठान लिया कि वे अब आईएएस अफसर बनकर ही मानेंगी.



यूपीएससी एग्जाम में 2 बार मिली असफलता


निधि सिवाच (Nidhi Siwach) ने नौकरी छोड़कर यूपीएससी एग्जाम (UPSC Exam) की तैयारी शुरू कर दी. उन्होंने अपने लक्ष्य पर फोकस किया और पूरी मेहनत के साथ यूपीएससी की तैयारी में जुट गईं, लेकिन शुरुआती दो बार वह इसमें नाकामयाब रहीं.


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घरवालों ने रख दी शादी की शर्त


लगातार 2 असफलता के बाद निधि सिवाच (Nidhi Siwach) खुद को पॉजिटिव रखने की कोशिश कर रही थीं, लेकिन इस बीच घरवालों ने उनके सामने शर्त रख दी कि अगर वे इस बार फेल हुईं तो उन्हें शादी करनी पड़ेगी. निधि ने घरवालों की शर्त मान ली, लेकिन इसके साथ ही यह भी ठान लिया कि इस बार यूपीएससी परीक्षा जरूर पास करेंगी.



6 महीने के लिए खुद को कमरे में कर लिया बंद


निधि सिवाच (Nidhi Siwach) को पता था कि तीसरा प्रयास उनका अंतिम प्रयास होगा और इस बार अगर वह सफल नहीं होंगी तो उन्हें शादी करनी पड़ेगी. इसलिए उन्होंने तैयारी में सारी ताकत झोंक दी और एग्जाम की तैयारी के लिए निधि ने खुद को करीब 6 महीने तक अपने कमरे में बंद कर लिया. घर में रहते हुए भी वह घरवालों से ज्यादा बात नहीं करती थीं और सारा समय किताबों में लगी रहती थीं. वह मानती हैं कि ऐसे समय में पारिवारिक बातें उनका ध्यान भटका रही थीं.


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बिना कोचिंग के बनीं UPSC टॉपर


यूपीएससी एग्जाम की तैयारी के लिए निधि सिवाच (Nidhi Siwach) ने ना ही किसी तरह की कोचिंग ली और ना ही सोशल ग्रुप में शामिल हुईं. आखिरकार निधि की मेहनत रंग लाई और उन्होंने अपने तीसरे प्रयास में ऑल इंडिया रैंक 83 हासिल कर ली. इस तरह निधि को मनपसंद इंडियन एडमिनिस्ट्रेशन सर्विस (IAS) मिल गई.