चुन्नीलाल देवांगन/रायपुरः छत्तीसगढ़ में आरक्षण के मुद्दे पर जारी विवाद के बीच बीजेपी ने एससी के लिए 3 फीसदी आरक्षण बढ़ाने की मांग कर डाली है. भाजपा नेता नवीन मार्कंडेय का कहना है कि एससी वर्ग को 16 फीसदी आरक्षण मिलना चाहिए. इस मांग को लेकर भाजपा राजभवन जाएगी. मार्कंडेय का कहना है कि जिसने लड़ाई लड़ी उसी का आरक्षण नहीं बढ़ा रहे हैं. 


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भाजपा नेता ने कहा कि एससी वर्ग सर्वे के आधार पर 16 फीसदी आरक्षण पाने का हकदार है. सरकार को डेटा को सार्वजनिक करना चाहिए. उन्होंने कहा कि SC वर्ग का आरक्षण कम हुआ है. जब आरक्षण 76 फीसदी तक बढ़ाया जा रहा है तो इसे और 3 फीसदी बढ़ाने में क्या दिक्कत है! नवीन मार्कंडेय ने कहा कि हम ये नहीं कह रहे हैं कि राज्यपाल हस्ताक्षर ना करें लेकिन हमारी मांग है कि 76 फीसदी आरक्षण में 3 फीसदी आरक्षण और जोड़ा जाए और उसके बाद राज्यपाल उस पर हस्ताक्षर करें. 


बता दें कि छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार ने बीते दिनों विधानसभा में विधेयक लाकर कुल आरक्षण को बढ़ाकर 76 फीसदी कर दिया है. नए बिल में अनुसूचित जनजाति का आरक्षण बढ़ाकर 32 फीसदी कर दिया गया है. वहीं अनुसूचित जाति का आरक्षण 13 फीसदी कर दिया गया है. वहीं ओबीसी के लिए 27 फीसदी और आर्थिक रूप से कमजोर सामान्य वर्ग के लिए आरक्षण 4 फीसदी रखा गया है.  अब संवैधानिक मंजूरी के लिए बिल राज्यपाल अनुसूईया उइके के पास है लेकिन वह उन्होंने अभी तक इस पर हस्ताक्षर नहीं किए हैं. राज्यपाल का कहना है कि आरक्षण बढ़ाने का यह मामला अगर कोर्ट में गया तो वहां सरकार 76 फीसदी आरक्षण देने का बचाव कैसे करेगी?


 


राज्यपाल ने सरकार से 10 बिंदुओँ पर जवाब भी मांगा है, जिनमें राज्यपाल ने सरकार से पूछा है कि क्या सरकार ने आरक्षण बढ़ाने से पहले एससी एसटी को लेकर क्वांटिफायबल डाटा तैयार कराया? साथ ही राज्यपाल ने ये भी पूछा है कि किन विशेष बाध्यकारी परिस्थितियों के कारण सरकार ने राज्य में आरक्षण की 50 फीसदी की सीमा से ज्यादा आरक्षण दिया है. सरकार ने आरक्षण बढ़ाने को लेकर कोई डाटा जुटाया है या नहीं इसे लेकर भी सवाल किया है.