MP Budget 2023: भोपाल। पांच दिनों में दूसरी बार मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार (Shivraj Government) कर्ज लेने जा रहा है. पहले 2 हजार करोड़ रुपये और अब 10 साल के लिए 3 हजार करोड़ रुपए कर्ज लिया जा रहा है. इसके लिए 7 फरवरी को रिजर्व बैंक में बांड गिरवी रखे जाएंगे. यानी सरकार 5 दिन के भीतर 5 हजार करोड का कर्ज (5000 Crore Loan)  ले रही है. ये पैस अगले 10 साल के लिए लिया गय है, जिसे 2033 तक चुकाना होगा. सरकार के इस फैसले पर विपक्ष भी हमलावर हो गया है.


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- 10 साल के लिए लिया जा रहा है 3 हजार करोड़ का कर्ज
- 7 फरवरी को सरकार रिजर्व बैंक में बांड रखेगी गिरवी
- साल 2022-23 में 14 हजार करोड़ का लोन ले चुकी है सरकार
- इससे पहले 31 जनवरी को लिए गए थे 2 हजार करोड़
- साल 2033 तक चुकाना होगा आरबीआई सरकार को ऋण


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वित्तीय घाटा
साल 2022 में मध्यप्रदेश सरकार को 57 हजार करोड़ का वित्तीय घाटा हुआ है. राज्य में कमाई से अधिक खर्च हो रहे हैं. इसी की पूर्ती के लिए सरकार कर्ज ले रही है. जिसे विभिन्न योजनाओं में खर्च करना है. अभी तक सरकार पर जो कर्ज है उसके लिए हर सला बतौर किस्त उसे 46 हजार करोड़ रुपए देने पड़ रहे हैं.


3 साल करोड़ से ज्यादा का कर्ज
मध्य प्रदेश के ऊपर अभी तक तीन लाख करोड़ रुपये से अधिक का कर्ज है. वित्त विभाग के आंकड़ों के अनुसार, अप्रैल 2022 की स्थिति में सरकार के ऊपर 2 लाख 95 हजार करोड़ रुपये का ऋण था. इसके बाद जून 2022 से नवंबर 2022 तक 12 हजार करोड़, जनवरी 2023 में 2000 करोड़ और अब फरवरी में 3 हजार करोड़ रुपये का कर्ज लिया जा रहा है.


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गृहमंत्री ने क्या कहा?
कर्ज पर उठ रहे सवालों पर सरकार के प्रवक्ता और गृहमंत्री ने कांग्रेस पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार विकास के काम पूरे करने के लिए कर्ज ले रही है. वहीं जब कांग्रेस की सरकार बनी थी तो वो जैकलिन और सलमान के लिए कर्ज लेते थे. उन्होंने कहा कि सरकार का बजट प्रदेश के विकास कार्य और गांव में खर्च हो रहा है.


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