MP Chunav Result 2023: अपनी जीत का दावा करने वाले दिग्गज हारे, कांग्रेस-बीजेपी के ये नेता अब क्या करेंगे?
मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव 2023 के परिणाम सभी के सामने हैं. इसी के साथ अब ये स्पष्ट हो गया है कि भारतीय जनता पार्टी एक बार फिर सत्ता में आ गई है. हालांकि इस बार के चुनाव परिणाम में बड़े उलटफेर देखने को मिले हैं.
MP Chunav Result 2023: मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव 2023 के परिणाम सभी के सामने हैं. इसी के साथ अब ये स्पष्ट हो गया है कि भारतीय जनता पार्टी एक बार फिर सत्ता में आ गई है. हालांकि इस बार के चुनाव परिणाम में बड़े उलटफेर देखने को मिले हैं. आलम ये है कि बीजेपी की लहर में भी कई दिग्गज चुनाव हार गए. वहीं कांग्रेस की बात की जाए तो पार्टी को इस बार करारी हार का सामना करना पड़ा है. कांग्रेस को ऐसे परिणाम की उम्मीद कभी न रही होगी. बीजेपी के साथ-साथ कांग्रेस के कई दिग्गजों को भी हार का सामना करना पड़ा है.
बता दें कि मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी को 163 सीटों के साथ स्पष्ट बहुमत मिला है, तो वहीं कांग्रेस 66 सीटें मिली है. तो चलिए जानते हैं कि कांग्रेस और बीजेपी के कितने दिग्गजों को हार मिली है.
देखिए बीजेपी के कितने दिग्गज चुनाव हारे
- मप्र के यह मंत्री चुनाव नहीं जीत सके
- दतिया से डॉ. नरोत्तम मिश्रा
- हरदा से कमल पटेल
- बमोरी से महेंद्र सिंह सिसौदिया
- बड़वानी से प्रेम सिंह पटेल
- अटेर से अरविंद सिंह भदौरिया
- बदनावर से राजवर्धन सिंह दत्तीगांव
- बालाघाट से गौरीशंकर बिसेन
- ग्वालियर ग्रामीण से भारत सिंह कुशवाह
- अमरपाटन से रामखेलावन पटेल
- पारसवाड़ा से राम किशारे नानो कांवरे
- पोहरी से सुरेश धाकड़
- खरगापुर से राहुल सिंह लोधी
कांग्रेस के ये दिग्गज हुए धराशायी
- नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह
- लक्ष्मण सिंह
- प्रियव्रत सिंह
- जीतू पटवारी
- हुकुम सिंह कराड़ा
- सुखदेव पांसे
- पीसी शर्मा
- लाखन सिंह यादव
- केपी सिंह
- सज्जन सिंह वर्मा
- विजयलक्ष्मी साधौ
- तरुण भनोट चुनाव हारे.
दिग्गज नेता दिग्वजिय सिंह के भाई भी हारे
सबसे हैरानी की बात तो ये रही कि दिग्विजय सिंह के बेटे चुनाव जीत गए लेकिन प्रदेश में कांग्रेस की 135 से ज्यादा सीटें जीतने का दावा करने वाले पूर्व सीएम के भाई और चौरा से प्रत्याशी लक्ष्मण सिंह को भी हार का मुंह देखना पड़ा है. वहीं कांग्रेस के नए चेहरे कालापीपल से उतरे प्रत्याशी कुणाल चौधरी की भी हार हुई है.
रिपोर्ट - प्रमोद शर्मा