Rajiv Gandhi Birth Anniversary: आज पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की जन्‍मद‍िन है. राजीव गांधी 31 अक्टूबर 1984 से 2 दिसंबर 1989 तक हमारे देश के प्रधानमंत्री थे. राजीव गांधी के कार्यकाल में ही वोट देने की उम्र 21 साल से 18 साल की गई. राजीव गांधी को भारत में कंप्यूटर क्रांति लाने और भारत में सूचना प्रौद्योगिकी और दूरसंचार के क्षेत्र में विभिन्न सेवाएं शुरू करने का श्रेय दिया जाता है. प्रदेश की उस समय की तत्कालीन पॉलिटिक्स पर भी राजीव गांधी ने कई अहम फैसले लिए थे.


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1985 में मध्य प्रदेश विधानसभा के चुनाव (Madhya Pradesh assembly elections) हुए.उस समय अर्जुन सिंह हमारे प्रदेश के मुख्यमंत्री थे. प्रदेश में विधानसभा चुनाव हुए. चुनाव सम्पन्न होने के बाद विधानसभा में कांग्रेस पार्टी को एक बार फिर बहुमत मिला. उस समय छत्तीसगढ़ हमारे प्रदेश का पार्ट था. इसलिए उस समय प्रदेश में 320 सीट हुआ करती थी. जिसमें से कांग्रेस पार्टी को 250 मिली. यानी पिछले चुनाव से 4 ज्यादा. कांग्रेस पार्टी का उस चुनाव में वोट परसेंट था 48.87% था.वहीं भारतीय जनता पार्टी ने 311 सीटों पर चुनाव लड़ा था. जिसमें उसको 58 पर सफलता मिली थी. 


अर्जुन सिंह को एक दिन बाद देना पड़ा था इस्तीफा
इस शानदार प्रर्दशन के बाद सिटिंग मुख्यमंत्री अर्जुन सिंह का एक बार फिर मुख्यमंत्री बनना तय ही माना जा रही था और ऐसा हुआ भी अर्जुन सिंह ने मुख्यमंत्री की शपथ ली. हालांकि  मुख्यमंत्री बनने के एक दिन बाद ही उनको इस्तीफा देना पड़ा क्योंकि उनको पंजाब का राज्यपाल नियुक्त कर दिया गया था.



 


राजीव गांधी ने स्थिति संभालने के लिए अपनाया था बीच का रास्ता  
ऐसा माना जाता है कि राजीव गांधी के चलते ही अर्जुन सिंह को मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा देना पड़ा था. इसको लेकर दो थ्योरी हैं. कई लोगों कहना है कि सिटिंग मुख्यमंत्री अर्जुन सिंह और श्रीनिवास तिवारी के बीच मनमुटाव था और इसी के चलते राजीव गांधी ने स्थिति संभालने के लिए बीच का रास्ता अपनाया और अर्जुन सिंह को पंजाब का राज्यपाल बनाया था तो दूसरी ओर मध्य प्रदेश का मुख्यमंत्री मोतीलाल वोहरा को बनाया.वहीं दूसरी थ्योरी यह भी कहती है कि ऐसा कोई विवाद नहीं था. सिर्फ पंजाब में शांति लाने के लिए अर्जुन सिंह को वहां भेजा गया था.