Ram Janm Sohar: इन बधाई गीतों के साथ मनाएं श्रीराम जन्मोत्सव, यहां पढ़िए राम जन्म का सबसे अद्भुत सोहर
ram janam sohar in hindi: भगवान श्री राम का जन्म चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की नवमी के दिन पुनर्वसु नक्षत्र में और कर्क लग्न में अयोध्या में राजा दशरथ की बड़ी रानी कौशल्या की कोख से हुआ था. इस बार यह तिथि 30 मार्च दिन गुरुवार को है. इस अवसर पर हम श्री राम जन्म के कुछ ऐसे बधाई गीत लेकर आए हैं जो आपको भक्ति के रस में डुबा सकते हैं.
Ram Navmi Ram Janam Sohar Geet: मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम का जन्म त्रेता युग में चैत्र नवरात्रि के नवमी तिथि के दिन हुआ था. इस दिन भगवान राम के भक्त बहुत धूमधाम से भगवान राम का जन्मोत्सव मनाते हैं और श्री रामअवतार स्तुति बधाई गीत, सोहर इत्यादि गाते हुए राम लला का जन्मदिन मनाते हैं. इस साल चैत्र नवरात्रि की नवमी तिथि 30 मार्च को है. ऐसे में आज श्री राम जन्म के कुछ ऐसे अदभुत सोहर, भजन और बधाई गीत लेकर आए हैं, जिससे आप राम लला को प्रसन्न कर सकते हैं.
रामजन्मोत्व पर सबसे अधिक गाए जाने वाल छंद
तुलसीदास रचित रामचरित मानस बालकाण्ड के इस छंद को आप रामनवमी के दिन जरुर पढ़ें. ऐसा करने से भगवान राम की विशेष कृपा प्राप्त होती है.
छंद:
भए प्रगट कृपाला दीनदयाला,
कौसल्या हितकारी ।
हरषित महतारी, मुनि मन हारी,
अद्भुत रूप बिचारी ॥
लोचन अभिरामा, तनु घनस्यामा,
निज आयुध भुजचारी ।
भूषन बनमाला, नयन बिसाला,
सोभासिंधु खरारी ॥
कह दुइ कर जोरी, अस्तुति तोरी,
केहि बिधि करूं अनंता ।
माया गुन ग्यानातीत अमाना,
वेद पुरान भनंता ॥
करुना सुख सागर, सब गुन आगर,
जेहि गावहिं श्रुति संता ।
सो मम हित लागी, जन अनुरागी,
भयउ प्रगट श्रीकंता ॥
ब्रह्मांड निकाया, निर्मित माया,
रोम रोम प्रति बेद कहै ।
मम उर सो बासी, यह उपहासी,
सुनत धीर मति थिर न रहै ॥
उपजा जब ग्याना, प्रभु मुसुकाना,
चरित बहुत बिधि कीन्ह चहै ।
कहि कथा सुहाई, मातु बुझाई,
जेहि प्रकार सुत प्रेम लहै ॥
माता पुनि बोली, सो मति डोली,
तजहु तात यह रूपा ।
कीजै सिसुलीला, अति प्रियसीला,
यह सुख परम अनूपा ॥
सुनि बचन सुजाना, रोदन ठाना,
होइ बालक सुरभूपा ।
यह चरित जे गावहिं, हरिपद पावहिं,
ते न परहिं भवकूपा ॥
दोहा:
बिप्र धेनु सुर संत हित,
लीन्ह मनुज अवतार ।
निज इच्छा निर्मित तनु,
माया गुन गो पार ॥
श्रीराम जन्मोत्सव सोहर गीत-
जुग जुग जियसु ललनवा, भवनवां के भाग्य जागल हो |
ललना लाल होई हैं, कुलवा के दीपक, मनवा में आस जागल हो ||
आजु के दिनवां सुहावन, रतिया लुभावन हो |
ललना दिदिया के जन्में होरिलवा, होरिलवा बड़ा सुन्दर हो ||
जुग- जुग जियसु ललनवा-2
नकिया तो होवे जैसे बाबूजी के, अँखियाँ तो माई के हो |
ललना मुखवा तो, चाँद सुरजवा तो, सगरो अंजोर भैले हो ||
जुग- जुग जियसु ललनवा-2
सासू सुहागिन भागिन तो,अनधन लुटा वेली हो |
ललना दुआरा पे बाजे बधैय्या, आँगन उठे सोहर हो ||
जुग- जुग जियसु ललनवा-2
नाचि - नाचि गावेली ननदिया, तो ललन का खेला वेली हो|
ललना हसि - हसि टिहुकी चलावे,तो रस बरसा वेली हो ||
जुग- जुग जियसु ललनवा-2
राम जन्म बधाई गीत-
ठुमक चलत रामचंद्र बाजत पैंजनियां
किलकि किलकि उठत धाय गिरत भूमि लटपटाय,
धाय मात गोद लेत दशरथ की रनियां
अंचल रज अंग झारि विविध भांति सो दुलारि,
तन मन धन वारि वारि कहत मृदु बचनियां,
विद्रुम से अरुण अधर बोलत मुख मधुर मधुर,
सुभग नासिका में चारु लटकत लटकनियां,
तुलसीदास अति आनंद देख के मुखारविंद
रघुवर छबि के समान रघुवर छबि बनिया
राम जन्म सोहर गीत
अइसन मनोहर मंगल मूरत सुहावन सुंदर सूरत हो
ये राजाजी ये करे ता रहलबा जरूरत मुहूरत खूबसूरत हो
हमारा जनात बबुआ जी एम होई हैं ना ना ललना डी एम होईहैं हो
ये ललना हिंद के सितारा इ ता सी एम होईहैं ओसे उपरा पीएम होईहैं हो
होईहैं वाईस चांसलर यूनिवर्सिटी के मेयर लंदन सिटी के नु हो
ये ललना होम सेकेट्री गौरमेंट्री के ता हीरा अपना मिट्टी के नु हो
बबुआ हमार महाराज होईहैं राजाधिराज होईहैं हो
ये ललना धातु में हीरा पुखराज होईहैं सिरवा के ताज होईहैं हो
मुनिबाबा अइसन ज्ञानी होईहैं राजाजी अइसन दानी होईहैं हो
ये ललना अखिल भूमंडल राजधानी होईहैं ता प्रेयस खानदानी होईहैं हो
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(Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और विभिन्न जानकारियों पर आधारित है. Zee Media इसकी पुष्टि नहीं करता है.)