नई दिल्लीः  5जी सेवाएं दुनिया के कई देशों में लॉन्च हो चुकी है. खुशी की बात ये है कि भारत भी इस मामले में ज्यादा पीछे नहीं है. बता दें कि आज आगामी 1 अक्टूबर को देश में 5जी सर्विस लॉन्च (5G Service Launch in India) हो रही है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इंडिया मोबाइल कांग्रेस के कार्यक्रम में इसे लॉन्च करेंगे. नेशनल ब्रॉडकास्ट मिशन ने ट्वीट कर यह जानकारी दी है. विशेषज्ञों का कहना है कि 5जी टेक्नोलॉजी से भारत को काफी फायदा होगा और इससे तकनीक की दुनिया पूरी तरह बदल जाएगी. अनुमान है कि इससे भारतीय अर्थव्यवस्था को 2023 से 2040 के बीच करीब 36 ट्रिलियन रुपए का फायदा होगा. 


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5G के क्या हैं फायदे
तेजी से खुलेंगे पेज
तकनीक की दुनिया में एक टर्म है लेटेंसी, जो कि आपके एक्शन पर होने वाली प्रतिक्रिया है. मतलब आप जैसे ही माउस पर क्लिक करते हैं, वैसे ही आपकी कंप्यूटर स्क्रीन पर पेज कितनी देर में खुलता है. 4जी ने लेटेंसी को काफी बेहतर कर दिया है लेकिन 5 जी के बाद इसमें क्रांतिकारी बदलाव आ जाएंगे. विशेषज्ञों का कहना है कि 4जी तकनीक में लेटेंसी रेट करीब 40 मिली सेकेंड होता है जबकि 5जी में यह 10 गुना घटकर एक मिली सेकेंड का ही रह जाएगा. इसका मतलब ये है कि जब तक आप पलक झपकाएंगे उससे कई गुना तेजी से आपकी स्क्रीन खुल जाएगी. 


टेलीमेडिसिन के क्षेत्र में आएगी क्रांति
5जी के आने से टेलीमेडिसिन के क्षेत्र में क्रांति आ जाएगी. दरअसल अभी अधिक लेटेंसी रेट और इंटरनेट की धीमी स्पीड के चलते कई बार डॉक्टर से वर्चुअल इलाज कराने में परेशानी होती है. डॉक्टर की अपॉइंटमेंट लेने और वीडियो कॉल करना काफी आसान हो जाएगा. डॉक्टर कई हजार किलोमीटर दूर से बैठकर मरीज का आसानी से इलाज कर सकेंगे और सर्जरी के वक्त साथी डॉक्टरों की मदद से मरीज की सर्जरी भी कर सकेंगे.


रियल और वर्चुअल दुनिया का अंतर घटेगा
जब कम लेटेंसी और हाई स्पीड इंटरनेट का एक बड़ा असर ये होगा कि रियल और वर्चुअल दुनिया के बीच की दूरी घट जाएगी. अलग अलग शहरों से काम करने वाले कर्मचारियों को 5जी तकनीक की मदद से साथ काम करने का अहसास होगा. खेलप्रेमी 5जी की मदद से घरबैठे ही स्टेडियम में मैच देखने का लुत्फ ले सकेंगे. घर बैठे हम शॉपिंग कर सकेंगे और सामान घर पहुंच जाएगा. हालांकि अभी सभी के पास ऐसी डिवाइस या स्मार्टफोन नहीं हैं जो 5जी तकनीक पर काम कर सकें. अभी इसमें थोड़ा वक्त लगेगा. 


ई-कॉमर्स की दुनिया बदल जाएगी
5जी से बैंडविथ बढ़ जाएगी और इससे डाटा ट्रांसफर बहुत तेजी से होगा. ड्रोन्स और सेंसर का ज्यादा और बेहतर इस्तेमाल हो सकेगा औऱ इसके असर से ई-कॉमर्स सेक्टर में बड़े बदलाव आएंगे. ड्रोन से सामान डिलीवर करना आसान हो जाएगा. 


क्या है 2जी, 3जी और 4जी
मोबाइल नेटवर्क की जेनरेशन को G कहा जाता है. समय के साथ तकनीक बेहतर होने से हमने 1जी से 4जी तक का सफर तय कर लिया है और अब जल्द ही 5जी तक पहुंचने वाले हैं. 1जी 1982 में आया था, 2जी 1992 में, 3जी 2001 में, 4जी 2012 में भारत में आ गया था. 


1जी मोबाइल की स्पीड काफी कम थी जो करीब 24 केबी प्रति सेकेंड थी. जिसमें कोई इमेज या मैसेज भेजना संभव नहीं था और हम सिर्फ कॉल कर सकते थे. 


2जी तकनीक में स्पीड बढ़कर 64केबी प्रति सेकेंड हो गई. जिसमें कॉल के साथ मैसेज करना भी संभव हो गया. 


3जी तकनीक में 2 एमबी प्रति सेकेंड हो गई. जिसमें कॉल, मैसेज के साथ ही धीमी स्पीड में इंटरनेट चलाना भी संभव हो गया. 3जी के आगमन के बाद ही मल्टीमीडिया फोन का आगमन हुआ. 


4जी तकनीक में स्पीड बढ़कर 100 एमबी प्रति सेकेंड हो गई थी. इसमें कॉल, मैसेज, तेज स्पीड इंटरनेट के साथ ही वीडियो कॉल की सुविधा भी मिली. आज जो स्मार्टफोन की दुनिया हमारे सामने है, वो 4जी की ही बदौलत है. 


5जी तकनीक में स्पीड बढ़कर 1जीबी प्रति सेकेंड हो जाएगी. इससे तकनीक की दुनिया कितनी बदल जाएगी उसके बारे में आप खुद ही अंदाजा लगा सकते हैं.