नई दिल्लीः कोरोना महामारी के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE-Central Board of Secondary Education) ने 10वीं की बोर्ड परीक्षाओं को रद्द करने का फैसला किया है. यह फैसला एक उच्च स्तरीय बैठक में लिया गया, जिसकी अध्यक्षता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने की. बैठक में फैसला किया गया है कि 10वीं के बच्चों को अगली क्लास में जनरल प्रमोशन दिया जाएगा. ऐसे में यह सवाल खड़ा हो रहा है कि जनरल प्रमोशन देते वक्त किन-किन बातों के आधार पर नंबर्स दिए जाएंगे या जनरल प्रमोशन देते वक्त किन बातों का ध्यान रखा जाएगा?


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

CBSE बोर्ड तय करेगा जनरल प्रमोशन का आधार
10वीं के छात्रों को जनरल प्रमोशन किस आधार पर दिया जाएगा, यह सीबीएसई बोर्ड तय करेगा. अभी तक बोर्ड ने इस लेकर कोई डिटेल्स शेयर नहीं की है. हालांकि केंद्रीय शिक्षा मंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल ने संकेत दिए हैं कि 'आंतरिक विश्लेषण' (Internal Assesment) के आधार पर छात्रों को प्रमोशन दिया जाएगा.


इन बातों का बनाया जा सकता है आधार
बता दें कि बीते साल भी कोरोना के चलते सीबीएसई ने बोर्ड परीक्षाएं रद्द कर दी थीं. उस वक्त भी छात्रों के 2 या 3 एग्जाम ही हुए थे. उसके बाद बाकी के विषयों में नंबर देने के लिए इन्हीं 2 या 3 एग्जाम को आधार बनाया गया था. दरअसल छात्रों ने जो परीक्षाएं दी थीं, उनमें जिस एक विषय में उन्हें सबसे ज्यादा नंबर मिले थे, उसके आधार पर औसत नंबरों की गणना कर प्रमोशन दिया गया था. 


इसके साथ ही पूरे साल के विश्लेषण और प्रैक्टिकल एग्जाम में लाए गए नंबरों को भी छात्रों की परफॉर्मेंस का आधार बनाया गया था. बता दें कि प्रैक्टिकल एग्जाम इस साल भी हो चुके हैं. ऐसे में इस साल भी उक्त बातों के आधार पर ही छात्रों को प्रमोशन दिया जा सकता है. 


परीक्षा देने का भी है विकल्प
गौरतलब बात ये है कि जो छात्र उन्हें दिए गए नंबरों से संतुष्ट नहीं होंगे, उन्हें कोरोना महामारी के नियंत्रित होने पर परीक्षा देने का विकल्प भी दिया जाएगा. शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ने यह बात कही है. वहीं 12वीं की बोर्ड परीक्षाएं भी फिलहाल स्थगित कर दी गई हैं. हालात सामान्य होने पर इन परीक्षाओं का आयोजन कराया जाएगा. 


यहां हो सकती है परेशानी
छात्रों को जनरल प्रमोशन दिए जाने को लेकर कुछ परेशानी भी हो सकती हैं. जिनमें सबसे पहली परेशानी है 11वीं के लिए स्ट्रीम का चुनाव. दरअसल इससे पहले 10वीं में मिले अंकों के आधार पर 11वीं में स्ट्रीम का चुनाव किया जाता था. लेकिन अब जब सभी को प्रमोशन दिया जाएगा तो 11वीं में बच्चे सब्जेक्ट का सिलेक्शन कैसे करेंगे, इसे लेकर भी असमंजस की स्थिति है. साथ ही इंटरनल एसेसमेंट में पारदर्शिता और निष्पक्षता बनाए रखना भी स्कूलों के लिए चुनौती होगा.