Maharashtra: Sachin Vaze केस में ATS को मिली बड़ी सफलता, दमन से जब्त की वॉल्वो कार; मिले कई अहम सबूत
Maharashtra ATS seizes Volvo Car from Daman: सचिन वझे केस (Sachin Vaze Case) में महाराष्ट्र एटीएस (ATS) को बड़ी सफलता मिली है और टीम ने उस वॉल्वो कार को जब्त कर लिया है, जिसे सचिन वझे इस्तेमाल करता था.
मुंबई: एंटीलिया केस में मुंबई पुलिस अधिकारी सचिन वझे (Sachin Vaze) की गिरफ्तारी के बाद महाराष्ट्र में सियासी उथल-पुथल चल रहा है. इस बीच मामले की जांच कर रही महाराष्ट्र एटीएस को बड़ी सफलता मिली है और उस वॉल्वो कार को जब्त कर लिया है, जिसे सचिन वझे इस्तेमाल करता था. इस वॉल्वो कार को दमन में छुपाकर रखा गया था.
गाड़ी का जांच में जुटे एटीएस के एक्सपर्ट्स
महाराष्ट्र एटीएस (ATS) ने सोमवार को दमन की एक फैक्ट्री में छापा मारा था, जहां उन्हें वॉल्वो कार के अलावा कई अहम सबूत मिले थे. महाराष्ट्र एटीएस के एक्सपर्ट्स अब इस गाड़ी की जांच में जुटे हैं. एटीएस ये भी पता लगाने की कोशिश कर रही है कि इस गाड़ी के असली मालिक का और सचिन वझे के संबंध किस तरह के हैं.
ये भी पढ़ें- 100 करोड़ रुपये की उगाही के आरोप पर अनिल देशमुख ने दी सफाई, मानी ये बड़ी बात
एनआईए को भी थी वॉल्वो कार की तलाश
NIA सूत्रों के मुताबिक इस वॉल्वो गाड़ी का असली मालिक अभिषेक नाथानी उर्फ अभिषेक अग्रवाल है. इस कार की तलाश NIA को भी थी, लेकिन अब महाराष्ट्र एटीएस की टीम ने इसे दमन से जब्त किया है. महाराष्ट्र सरकार के सूत्रों के मुताबिक गृह मंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) के ऊपर लगे आरोपो की जांच के लिए राज्य सरकार एक कमेटी बना सकती है. जिसको एक रिटायर्ड जज लीड कर सकते है.
लाइव टीवी
मनसुख हिरेन के हत्या की गुत्थी सुलझाने का दावा
इससे पहले महाराष्ट्र एटीएस (Maharashtra ATS) ने व्यवसायी मनसुख हिरेन की कथित तौर पर की गई हत्या की गुत्थी को सुलझाने का दावा किया था. इस केस में टीम ने दो लोगों को गिरफ्तार किया है और एटीएस के एक अधिकारी ने बताया कि मुंबई पुलिस के निलंबित अधिकारी सचिन वझे (Sachin Vaze) ने इस हत्या में मुख्य भूमिका निभाई थी और वह मुख्य आरोपी के तौर पर सामने आया है.
इन दो वजहों से सचिन वझे ने रची हत्या की साजिश
गिरफ्तार दोनों आरोपियों ने मनसुख हिरेन की हत्या के आरोप को स्वीकार कर लिया है और सचिन वझे समेत कुछ दूसरे पुलिसकर्मियों को लेकर खुलासे किए हैं. अधिकारियों के मुताबिक, सचिन वझे ने मनसुख को विस्फोटक रखने की जिम्मेदारी दी थी, लेकिन उन्होंने इनकार कर दिया था. एक अधिकारी ने बताया कि 'सचिन वझे खुद केस को सॉल्व करके सुपर कॉप बनना चाहते हैं या फिर वह और कुछ दूसरे पुलिसकर्मी (जिसमें एक सीनियर भी शामिल हैं), एक प्राइवेट सिक्यॉरिटी फर्म में शामिल होना चाहते थे जिसे एक कॉर्पोरेट ने लॉन्च किया है.'