नई दिल्‍ली : जम्‍मू कश्‍मीर के पुलवामा में हुए आतंकी हमले के बाद भारत कूटनीति‍क तौर पर पाकिस्‍तान को घेरना शुरू कर दिया है. इस मामले में उसे पड़ोसी और दूसरे मुल्‍कों से भी मदद मिल रही है. अफगानि‍स्‍तान ने आतंक का गढ़ बन चुके पाकिस्‍तान की शिकायत यूनाइटेड नेशन सिक्‍युरिटी काउंसिल (UNSC) में की है. वहीं ईरान ने आतंकवाद को बढ़ावा देने के लिए पाकिस्‍तान के एंबेसडर को नोटिस जारी किया है. बता दें कि दक्षिण पूवी सिस्‍तान और बलूचिस्‍तान में हुए आतंकी हमले में 27 रिवोल्‍यूशनरी गार्ड्स की मौत हो गई थी. इस आतंकी घटना की जिम्‍मेदारी पाकिस्‍तान के एक आतंकी संगठन जैश उल अदल ने ली है. ईरान के राष्‍ट्रपति हसन रुहानी ने साफ कहा है कि ईरान अपने सैनिकों के खून का बदला लेकर रहेगा.


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इधर अफगानिस्‍ता ने भी पाकिस्‍तान के खिलाफ अपने रुख को सख्‍त कर लिया है. अब उसने यूनाइटेड नेशन सिक्‍युरिटी काउंसिल (UNSC) में पाकिस्‍तान की शिकायत की है. उसका आरोप है कि पाकिस्‍तान उसके खिलाफ तालिबान की मदद कर रहा है. अफगानिस्‍तान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्‍ता सिबगतुल्‍लाह अहमदी ने अपने ट्वीट में कहा कि, पाकिस्‍तान का ये प्रयास न सिर्फ शांति प्रक्रिया में बाधा डालने वाला है बल्‍क‍ि अफगानिस्‍तान अखंडता को भी भंग करने वाला है.


इससे पहले भी अफगानिस्‍तान पाकिस्‍तान पर आतंकवाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाता रहा है. साथ ही उसने कहा है कि वह अपने देश में आतंकवाद को पनाह देना बंद करे. बता दें कि अफगानिस्‍तान में हुए कई आतंकी हमलों में पाकिस्‍तानी लिंक सामने आया है.


भारत ने अपने लिए समर्थन बढ़ाया
भारत ने अंतरराष्‍ट्रीय स्‍तर पर पाकिस्‍तान को अलग थलग करने के लिए प्रयास शुरू कर दिए हैं. भारत के दौरे पर अर्जेंटीना की राष्‍ट्रपत‍ि मुर्सियो मैक्री को भी पाकिस्‍तान की करतूत के बारे में बताया गया. भारत के दबाव का ही असर है कि सउदी अरब के प्र‍िंस मोहम्‍मद बि‍न सलमान ने पाक‍िस्‍तान की अपनी यात्रा छोटी कर दी है. वह भारत के दौरे पर भी आने वाले हैं.