नई दिल्ली: हिंदू आतंकवाद वाले बयान पर अभिनेता प्रकाश राज तमिल अभिनेता कमल हासन का साथ देते नजर आ रहे हैं. प्रकाश ने शुक्रवार (3 नवंबर) को अपने एक ट्वीट में पूछा, 'अगर धर्म, संस्कृति और नैतिकता के नाम पर भय फैलना आतंक नहीं है तो यह क्या है? सिर्फ पूछ रहा हूं.' उन्होंने नैतिक पहरेदारी, गौहत्या के संदेह में पीट - पीट कर हत्या करने तथा मजाक उड़ाने का मुद्दा भी उठाया. हालांकि, राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता अभिनेता ने अपने ट्विटर पोस्ट में किसी का नाम नहीं लिया. अपने सहकर्मी कमल हासन द्वारा हिंदू दक्षिणपंथियों पर हमला बोले जाने के एक दिन बाद उन्होंने यह टिप्पणी की.


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इससे पहले महिला पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या के वक्त एक बयान की वजह से प्रकाश राज विवादों में आ गए थे. उस दौरान मीडिया में कहा गया कि वे (प्रकाश राज) अपना राष्ट्रीय सम्मान लौटा रहे हैं. हालांकि बाद में एक वीडियों के जरिए उन्होंने सफाई देते हुए कहा था कि वह 'मूर्ख नहीं है कि राष्ट्रीय पुरस्कारों को लौटाएं.' पत्रकार गौरी लंकेश की पांच सितंबर की रात को अज्ञात अपराधियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी.


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राज ने कहा, ‘क्या मेरे देश की सड़कों पर नैतिक पहरेदारी के नाम पर युवा जोड़ों से बदसलूकी करना और पिटाई करना आतंकित करना नहीं है ...क्या कानून अपने हाथ में लेना और गौहत्या के संदेह पर लोगों की पीट - पीट कर हत्या करना आतंकित करना नहीं है। क्या असहमति की थोड़ी सी आवाज को बंद करने के लिए गालियों, धमकियों के साथ मजाक उड़ाना आतंकित करना नहीं है ...तो फिर आतंकित करना क्या है।’



गौरतलब है कि तमिल, कन्नड़ और तेलगू सिनेमा के मशहूर अभिनेता राज को तमिल फिल्म ‘कांचीवरम’ में अपनी भूमिका के लिए राष्ट्रीय पुरस्कार मिला था. उन्होंने ‘सिंघम’ जैसी हिन्दी फिल्मों में भी यादगार अभिनय किया है.


वहीं दूसरी ओर कमल हासन को हिंदू आतंकवाद पर बयान देना भारी पड़ा है. उनके खिलाफ आईपीसी की विभिन्न धाराओं के अंतर्गत मामला दर्ज कर लिया गया है.  हासन ने बीते गुरुवार (2 नवंबर) को हिंदू चरमपंथ की आलोचना करते हुये दावा किया था कि दक्षिणपंथी समूहों ने हिंसा का दामन इसलिये थामा क्योंकि उनकी पुरानी ‘रणनीति’ ने काम करना बंद कर दिया है.


हासन ने तमिल पत्रिका ‘आनंद विकटन’ के हालिया अंक में अपने स्तंभ में आरोप लगाया कि दक्षिण पंथी संगठनों ने अपने रुख में बदलाव किया है, हालांकि उन्होंने इसमें किसी का नाम नहीं लिया है. उन्होंने कहा था, ‘पूर्व में हिंदू दक्षिण पंथी, दूसरे धर्म के लोगों के खिलाफ हिंसा में शामिल हुये बगैर, उनको अपनी दलीलों और जवाबी दलीलों से हिंसा के लिये मजबूर करते थे.’ हासन ने लिखा कि हालांकि ‘यह पुरानी साजिश’ विफल होनी शुरू हो गयी, तब यह समूह हिंसा में शामिल हो गये.


तमिल फिल्म अभिनेता ने लिखा, ‘चरमपंथ किसी भी तरीके से उनके लिये सफलता या विकास (का मानक) नहीं हो सकता जो खुद को हिंदू कहते हैं.’ हाल ही में केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन से मुलाकात करने वाले हासन ने मार्क्सवादी नेता द्वारा उठाये गये उस सवाल का जवाब भी दिया जिसमें उन्होंने पूछा था कि अभिनेता ‘हिंदूवादी ताकतों द्वारा धीमी घुसपैठ के जरिये द्रविड संस्कृति को कमजोर करने’ के बारे में क्या सोचते हैं.


(इनपुट एजेंसी से भी)