Baran News:  बारां के भंवरगढ़ कस्बे में लगातार दूसरे दिन खाद वितरण के दौरान थाने में हंगामे की हालत रही. कृषि विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में कस्बे में तीन डीलरों के यहाँ तीन दिन पूर्व आए थे 500 कट्टे. अत्यधिक भीड़ एवं किसानों द्वारा हंगामा खड़ा करने के कारण मंगलवार को किसानों को टोकन वितरण किए गए. किंतु मंगलवार को भी भंवरगढ़ थाने में पुलिस की मौजूदगी में लाइन में लगे सैकड़ों किसानों को निराशा ही हाथ लगी.

 

सहायक कृषि अधिकारी कमल प्रकाश मीणा ने बताया कि कस्बे में तीन खाद विक्रेताओं के यहां 500 डीएपी खाद आए थे. दो- दो कट्टे खाद का वितरण जमीन की जमाबंदी व आधार कार्ड के आधार पर करना था. कृषि पर्यवेक्षक पवन सहरिया ने सहायक उप निरीक्षक हुकमचंद नागर व पुलिस जवानों की मदद से पहले कस्बे के खेल मैदान में दो-दो कट्टे के टोकन वितरण करना प्रारंभ किया.

 

किंतु वहां हंगामा होने के बाद पुलिस थाने के बाहर किसानों को दो-दो कट्टे खाद के टोकन देना शुरू किया गया. यहां पर भी हालात नहीं बदले. किसान आपस में उलझते रहे व धक्का मुक्की करने लगे. इसके कारण पुलिस को दखल देना पड़ा. इधर लाइन में लगे सैकड़ों किसान खाद से वंचित रहने के निराश नजर आए. 

 

वे जनप्रतिनिधियों को कोसते नजर आए. कुछ किसानों ने डीएपी खाद के कट्टों के साथ दिए जा रहे अटैचमेंट का भी विरोध किया. कस्बे के किसानों ने बताया कि इतने बड़े कस्बे और रकबे के हिसाब से जिस तरह खाद की आपूर्ति आ रही है. वह ऊंट के मुंह में जीरे के समान है. अब पता नहीं कब खाद की आपूर्ति होगी. यह चिंता भी किसानों को सता रही है. सरकार इस समस्या का समाधान करें.

 

किसानों का कहना है कि सरकार सपना का की इस गंभीर समस्या की ओर ध्यान देकर समस्याओं का समाधान करना चाहिए. किसान दो दो कट्टे खाद के लिए लाइन में लगना पड़ रहा है. वह धक्के खा रहे है, किंतु किसान की पीड़ा की ओर किसी का ध्यान नहीं है. भंवरगढ़ कस्बे में 10 दिन के अंदर मात्र 900 कट्टों की आपूर्ति हो पाई है. जबकि यहां क्षेत्र के लिए कम से कम 7000 डीएपी के कट्टे और आना चाहिए, तब जाकर किसानों की पूर्ति हो पायेगी.