आखिर क्यों कहा केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कि नौ महीने में तो बच्चा भी पैदा हो जाता है ?
केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि संत विजय दास की आत्महत्या के बाद संतों ने FIR दर्ज करवाने की कोशिश की वो नहीं कि जा रही है.
Bharatpur : केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत भरतपुर के डीग के पसोपा में पशुपतिनाथ मंदिर पहुंचे और भगवान के दर्शन करके सन्त सम्मेलन में शिरकत की. इस दौरान बृज के पर्वतों के सरक्षंण के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले सन्त विजयदास को श्रन्दाजलि दी गयी.
इस मौके पर मीडिया से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने सन्त विजयदास की मौत के लिये प्रदेश की कांग्रेस सरकार को जिम्मेदार ठहराया और कहा कि इतने दिनों से सन्त सनातन संस्कृति को बचाने के लिए आंदोलन कर रहे थे. लेकिन सरकार ने कोई कार्यवाही नहीं की सिर्फ आश्वसन देती रही और 9 माह बाद जब सन्त विजयदास ने अपने प्राणों का उत्सर्ग कर बृज सरक्षंण के लिये प्राण आहुति दी, तो फिर दस दिन में आदेश निकाल दिए.
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि 9 माह में तो बच्चा भी पैदा हो जाता है, लेकिन प्रदेश की सरकार नींद से तब जागी जब एक सन्त को प्राण आहुति देनी पड़ी. पशुपति नाथ मंदिर में संत सम्मेलन के कार्यक्रम में प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया, अलवर सांसद बाबा बालक नाथ, सीकर सांसद सुमेधानंद, सवाईमाधोपुर सांसद सुखबीर सिंह जौनपुरिया, भरतपुर सांसद रंजीता कोली पहुंची. सभी ने बाबा विजय दास की तस्वीर पर पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी, और संत सम्मेलन में भाग लिया.
इस दौरान जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि, संतों का मामला कोई राजनैतिक विषय नहीं है, ये धार्मिक मान्यता और जन भावना के उलंघ्घन का विषय है. धार्मिक प्रतिबद्धताओं से जुड़े पहाड़ों का सर्वनाश किया जा रहा था.
केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि मुख्यमंत्री के आश्वाशन के बाद भी जब कार्रवाई नहीं हुई, संतों और स्थानीय लोगों के साथ विश्वाशघात हो रहा था. उन्हें पुलिस के द्वारा दबाया जा रहा था. तब संतों ने विश्वासघात से आहत होकर 14 संतों ने आत्मदाह की चेतावनी दी थी और आखिर में संत के शरीर की लपटों और उसके मुंह से निकलती हुई राधे-राधे की चीख के बाद सरकार जागी.
केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि संत विजय दास की आत्महत्या के बाद संतों ने FIR दर्ज करवाने की कोशिश की वो नहीं कि जा रही है. लेकिन भारत के संविधान ने इतनी ताकत दी है अभी कोर्ट का भी रास्ता है. राजस्थान की सरकार जिस तरह से तुष्टिकरण कर रही है.
केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत में करौली, भीलवाड़ा, जोधपुर में जिस तरह की परिस्थितियां बनी है और फिर उदयपुर में कन्हैय्यालाल की हत्या हुई. उसके बाद भी क्या राजस्थान की सरकार, हिन्दू की आवाज कोई राजनैतिक दल या जा प्रतिनिधि नहीं उठाए. इसका जबाव राजस्थान के मुखिया को देना चाहिए.
रिपोर्टर- देवेंद्र सिंह
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