Bari: धौलपुर के बाड़ी में इन दिनों शहर की ऐतिहासिक इमारतों का कोई धनी-धोनी दिखाई नहीं दे रहा है. खुद सरकारी विभाग ही दुर्दशा करने पर तुले हुए हैं. इसी के चलते जहां शहर का ऐतिहासिक घंटाघर पूरी तरह अतिक्रमण की चपेट में आ गया है, वहीं ऐतिहासिक किला गेट भी दुर्दशा का शिकार हो रहा है.


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शहर की नगर पालिका ने किला गेट के मुख्य प्राचीर पर शौचालय और मूत्रालय बनाकर गंदगी की बढ़ोतरी कर कर दी है, जिसके चलते शहर की सुंदरता को निहारने आने वाले लोग जब इस किले की दुर्दशा को देखते हैं तो मायूस होकर लौट जाते हैं. 


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बता दें कि ऐतिहासिक किला गेट 13वीं से 14वीं शताब्दी के बीच बना था, जो सल्तनत काल की अफगानी शैली की इमारत है. इसकी प्राचीर पर पूर्व में ही लोगों द्वारा अतिक्रमण का शिकार बनाया जा चुका है. अब रहा सहा इसका मुख्य गेट जो शहर की सुंदरता को बढ़ाता है, वह भी अतिक्रमण की भेंट चढ़ा रहा है.


मूत्रालय-शौचालय बनाकर गंदगी को बढ़ावा दिया जा रहा
किले के बाई और पार्क के बगल में नगर पालिका द्वारा नागरिको के प्रसाधन के लिये मूत्रालय-शौचालय बनाकर गंदगी को बढ़ावा दिया जा रहा है, जो इसकी प्राचीर को नष्ट कर रहा है. इसको लेकर शहर के नागरिकों ने मांग की है कि नगर पालिका इसके मुख्य गेट के बगल से बनी गंदगी के इन तीनों इमारतों तुरंत हटवाये और किसी दूसरी जगह बनवाये. साथ में इस किले के गेट का फिर से जीर्णोद्धार कराने के साथ साफ-सफाई करायी जाये, जिससे शहर की यह ऐतिहासिक इमारत लोगों के आकर्षण का फिर से केंद्र बन सके.


क्या कहना है जागरूक नागरिकों का 
शहर के जागरूक नागरिकों का कहना है कि वर्षों से यह ऐतिहासिक इमारत दुर्दशा का शिकार है. नगर पालिका को इस इमारत के बगल में जो मूत्रालय, शौचालय बनाये हैं, जिनमें लगातार गंदगी हो रही है. उसे तुरंत हटाना चाहिए और किले के मुख्य गेट की फिर से मरम्मत का इस पर आकर्षक लाइटिंग करनी चाहिए, जिससे आने वाले लोग इसे देखें और शहर की सुंदरता को निहार सके.


युवा नागरिकों का कहना है कि यह एक ऐतिहासिक इमारत है, जिसके दोनों तरफ से गेटों की सुंदरता को बढ़ाने के लिए की रंगाई पुताई कराई जाए. इस पर गंदगी का निशान बने शौचालय और मूत्रालय हटाए जाये उन्हें दूसरी जगह स्थापित किया जाये और इस पर लाइटिंग की जाये जिससे रात्रि में भी यह ऐतिहासिक इमारत अपनी खूबसूरती को बखान कर सके.


अफगान शैली का है यह किला
स्थानीय लोगो का कहना है कि बाड़ी का किला गेट 13 से 14वीं शताब्दी के बीच बना है. इसको अफगानी शैली में बनाया गया था जिसके बाद मुगलो ने आकर इसमें कुछ फेर बदल किया. इसके अंदर से ऊपर जाने का रास्ता और पहरियो के रहने के कमरे भी बनाये गये हैं. इसका मुख्य दरवाजा जो कभी रात्रि में बंद हुआ करता था. काफी वजनी है और मजबूत लकड़ी का बना है. यदि इस गेट को फिर से सही कराया जाए तो यह लोगों के आकर्षण का केंद्र हो सकता है लेकिन इसके लिए प्रशासन को इस पर विशेष ध्यान देना होगा और आसपास लगने वाले ठेल-ढकेल भी हटाकर इसकी सुंदरता को बढ़ाने का प्रयास करना होगा.


Reporter- Bhanu Sharma