डूंगरपुर: जिले में वागड़ संत गोविंद गुरु महाराज का 164 वा जन्मोत्सव बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया गया. जन्मस्थली मड़ी मगरी धाम बांसिया पर बीती रातभर सत्संग,प्रवचन, भजन कीर्तन, पाठ पूजन का आयोजन हुआ. रात को सर्द हवाओं के बावजूद गुरु भक्तों में विशेष उत्साह देखने को मिला. कार्यक्रम में जनप्रतिनिधियों से लेकर बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए. 


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वागड़ संत गोविंद गुरु महाराज की जन्मस्थली मड़ी मगरी धाम बांसिया पर गादीपति करण गिरी महाराज की अध्यक्षता में आयोजित समारोह में चौरासी विधायक राजकुमार रोत, समाजसेवी भंवर लाल परमार, जीवराज डामोर, विश्राम भाई बंजारा, करण भाई बंजारा, पंचायत समिति सदस्य विमल प्रकाश डोडियार, किशन महाराज सहित ने संबोधित कर गुरु के बताए मार्ग पर चलने, गुरु की भक्ति में ही शक्ति होने का संदेश दिया. वक्ताओं ने कहा कि गोविंद गुरु के इतिहास को तोड़ मरोड़ कर पेश किया जा रहा है, उनके गुरु राजूगर थे, लेकिन किताबों में गलत पढ़ाया जा रहा है, जोकि कभी भी स्वीकार्य नहीं होगा.


गोविंद गुरु महाराज ने आदिवासी समाज के लिए जीवन पर्यन्त संघर्ष किया. जिला और राज्य बदर भी किया गया लेकिन उन्होंने  आदिवासी समाज को भक्ति मार्ग से जोड़ा. वर्तमान समय में आदिवासी समाज आगे बढ़ रहा है जोकि गुरु महाराज का वचन काम कर रहा है. विधायक राजकुमार रोत ने धाम के विकास के लिए आश्वस्त भी किया.


कार्यक्रम में वागड़, गुजरात, मेवाड़, मालवा एमपी सहित दूर दराज क्षेत्रों से बड़ी संख्या में भक्त  श्रद्धालु मौजूद रहे. भजनों से वातावरण पूरी तरह से भक्तिमय बना रहा. श्रद्धालु भजनों पर झूम उठे. संचालन दिनेश रोत, उदयलाल बंजारा ने किया. इस दौरान पोपट खोखरिया, मनोज पारगी, शांति लाल रोत, ईश्वर लाल, प्रताप भाई बंजारा, पंकज बंजारा, राजेंद्र बंजारा, अंबालाल रोत, अर्जुन भाई, देवेंद्र मकवाना, बापूलाल दामा, हरी कोतवाल, जयेश डामोर, धनराज अहारी, नरेंद्र कुमार बंजारा, भवानी भाई सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे. उल्लेखनीय है कि हर साल यह कार्यक्रम राजस्थान वनवासी कल्याण परिषद की ओर से होता था लेकिन अब की बार मेट कोतवाल भक्तों द्वारा किया गया है. 


Reporter- Akhilesh Sharma