Ashok Gehlot on Rajasthan CM Post : सीएम पद पर अशोक गहलोत रहेगे या फिर कोई इस पद पर बैठेगा ये फैसला सोनिया गांधी को करना है. राजस्थान में जारी सियासी घमासान के बाद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने एक बार फिर बयान दिया है. जिसमें उन्होने मल्लिकार्जुन खड़ेगे की तारीफ की और प्रदेश में अपना कद भी बता दिया.


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मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि कई बार  फैसले ऐसे हो जाते हैं, कई कारण हो जाते हैं, मैं उन पर नहीं जाता,  मुझे नहीं मालूम किस स्थिति में ये फैसला हुआ, मैं किसी को दोष नहीं देता. अशोक गहलोत ने कहा कि जब एक बार फैसला हुआ तो, ऑब्जर्वर तो आएंगे ही.


मुख्यमंत्री अशोक गहलोत यहीं नहीं रुके, उन्होने कहा कि ऑब्जर्वर एक बड़ी पोस्ट होती है, ऑब्जर्वर, कांग्रेस प्रेसीडेंट के तरफ से आते हैं. ऑब्जर्वर से हम लोग उसी ढंग से व्यवहार करते है,ऑब्जर्वर को भी चाहिए कि कांग्रेस प्रेसीडेंट की सोच और के हिसाब से काम करें.


मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ये भी कहा कि मैंने सोनिया गांधी से कहा है कि  मैंने 50 साल में पहली बार देखा कि हम एक लाइन का प्रस्ताव पारित नहीं करवा पाए. जबकि वो हमारी ड्यूटी थी, लेकिन यहां पर ये स्थिति क्यों बनी, इस पर रिसर्च की जरूरत है. ये नौबत क्यों आई कि यहां के विधायक मेरी बात मानने को ही तैयार नहीं थे. स्पीकर के पास इस्तीफा देकर आ गए, शायद उन्हें डर था कि अब अगला दिल्ली जा रहा है, हमें किस के भरोसे छोड़ा जा रहा है ?


बातों बातों में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने नाम ना लेते हुए, पिछली बार पार्टी में बगावत का जिक्र भी किया और कहा कि बीजेपी हमेशा कोशिश करेगी कि कैसे सरकार गिरा दें, हमारे विधायक को अमित शाह ने मिठाई खिलाई थी. ऐसे में कोई उन 102 विधायकों को कैसे भूल सकता है. 10 करोड़ का रेट था, बाद में 10, 20, 50 करोड़ की बात होने लगी थी. मैं रहूं या नहीं रहूं, ये अलग बात है पर मैं विधायकों का अभिभावक हूं. आज दो-चार विधायक मेरे खिलाफ कमेंट भी कर देते हैं तो मैं बुरा नहीं मानता.


सचिन पायलट की बगावत पर बोलते हुए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि हम पर बड़ा संकट आया. लेकिन हमने उसे विफल कर दिया, बीजेपी आगे भी सरकार को डिस्टर्ब करने की कोशिश करती रहेगी, लेकिन प्रदेश वासियों का सहयोग उनके साथ है तभी वह बार-बार कहते हैं कि वे उनसे दूर कैसे हो सकते हैं.