Bassi: शिक्षा विभाग ने अब बच्चों की बुनियादी दक्षताओं को सीखने में पिछड़ने की कमजोरियों को दूर करने के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का सहारा लेने का निर्णय किया है. एक ही कक्षा में अध्ययनरत विद्यार्थियों के सीखने का स्तर एक जैसा नहीं होता है. 


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यही वजह है कि कक्षा में साथ-साथ पढ़ने वाले बच्चों का प्रदर्शन भी समान नहीं रह पाता है. लिहाजा पढ़ाई में पिछड़ने वाले बालक कक्षा में शर्मिंदगी का शिकार होने लगते हैं. शिक्षा विभाग की ओर से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के जरिए अब बच्चों को कक्षाओं में पाठ्यक्रम पूरा करने के बजाय उनके सीखने के स्तर के अनुसार दक्षता आधारित शिक्षण पर जोर दिया जाएगा.


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मोबाइल एप पर आधारित होगा मूल्यांकन
इसमें राजस्थान के प्रत्येक सरकारी स्कूल में इस साल कक्षा 3 से 8 तक के सभी बच्चों का पहले अंग्रेजी, हिंदी और गणित में बुनियादी दक्षता आधारित टेस्ट लिया जाएगा. यह टेस्ट प्रदेश में पहली बार आरकेएसएमबीके एप के जरिए ओसीआर आंसर शीट पर होगा. टेस्ट के बाद अध्यापक को प्रत्येक बच्चे की ओसीआर आंसर शीट का फोटो खींचकर आरकेएसएमबीके एप पर अपलोड करना होगा. फिर उनकी कॉपियों की जांच आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के माध्यम से मोबाइल एप के जरिए होगी. 


गौरतलब है कि दीपावली की छुट्टियों से पहले शिक्षकों ने कक्षा 3 से आठ तक के बच्चों का अभ्यास ओसीआर आंसर शीट पर करवाया है. अब पूरे प्रदेश में पंजीयक शिक्षा विभागीय परीक्षाएं राजस्थान बीकानेर ने 3 नवंबर से 5 नवंबर तक प्रथम आंकलन के लिए विस्तृत परीक्षा कार्यक्रम जारी किया है. इस समय प्रदेश के लगभग 65 हजार स्कूलों में कक्षा 3 से आठ तक लगभग 50 लाख विद्यार्थी अध्ययनरत हैं.


आंकलन के लिए शिविरा पंचांग में संशोधन
प्रदेश में शिक्षा के बढ़ते कदम कार्यक्रम अंतर्गत निदेशक माध्यमिक शिक्षा बीकानेर ने 18 अक्टूबर को आदेश जारी कर शैक्षिक सत्र 2022-23 में कक्षा 3 से 8 के विद्यार्थियों के आंकलन के संबंध में विस्तृत दिशा निर्देश जारी किए हैं, जिसमें प्रति वर्ष तीन बार बच्चों की दक्षता आधारित परीक्षा ली जाएगी. प्रत्येक परीक्षा में लगभग 1.5 करोड़ आंसर शीट और पूरे वर्ष में लगभग 4 करोड़ आंसर शीट आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से जांची जाएगी.


एसीबीईओ तूंगा प्रभुदयाल मीणा का कहना है कि शिक्षकों को ओसीआर सीट समेत ऐप पर अपलोड करने का प्रशिक्षण दे दिया गया है. 3 से 5 नवंबर तक परीक्षाएं होगी, आर्टिशिफियल इंटेलिजेंस द्वारा पहली बार विद्यार्थियों के शैक्षिक स्तर का पता लग सकेगा.


Reporter- Amit Yadav


 


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