Jaipur News:  जयपुर नेशनल हाईवे संख्या 48 पर शाहजहांपुर हरियाणा बॉर्डर पर किसान आंदोलन को लेकर सुरक्षा के पुख्ता इंतेजामत नहीं है. कहने को तो यहां बैरिकेट्स लगाए गए हैं, और RAC की एक 4th कंपनी तैनात है. जिसके 30 जवान यहां लगाए गए हैं. लेकिन वह हाईवे और सर्विस सड़क को छोड़कर एक होटल के पर अलाव तापते नजर आए.


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साथ ही वाहनों की चेकिंग भी नहीं की जा रही. ये वही, राजस्थान का सिंहद्वार शाहजहांपुर बॉर्डर है. जहां वर्ष 2021 में सबसे लंबा आंदोलन चला था और नेशनल हाईवे संख्या 48 दोनों तरफ से जाम रहा था.


डिवाइडर पर बीचों-बीच मटके रखे हुए हैं


यहां 2 साल के पहले आंदोलन के निशान आज भी बरकरार है बने हुए हैं. यहां किसान आंदोलन में शहीद हुए किसानों की यादगार में समाधि बनाई गई थी.यहां आज भी हाईवे के डिवाइडर पर बीचों-बीच मटके रखे हुए हैं और तिरंगा लहरा रहा है.हालांकि राजस्थान पुलिस के अलावा हरियाणा पुलिस भी मुस्तेद नहीं है. राजस्थान- हरियाणा बॉर्डर सीमा पर केवल राजस्थान पुलिस तैनात है.


जबकि हरियाणा पुलिस का अतापता ही नहीं है. ऐसे में यहां से किसानों का काफिला टुकड़ों में एक के बाद एक ब्यूरोक्रेट्स आराम से जा सकता है. दिल्ली जाने के लिए शाहजहांपुर से गांवों में अनेक रास्ते हैं.


यहां से आसानी से निकल सकते हैं किसान


हरियाणा बॉर्डर से पहले रेवाड़ी की तरफ सड़क मार्ग जा रहा है लेकिन यहां पर भी पुलिस के और राजस्थान आर्म्ड कोर (RAC) और राजस्थान पुलिस के जवान भी तैनात नहीं है.मोड पर शाहजहांपुर थाना पुलिस के द्वारा पुलिस चौकी गूगल कोटा स्थापित की हुई है. लेकिन यह भी सुनी पड़ी है. यहां पर भी पुलिस का जाब्ता तैनात नहीं है.ऐसे में किसान यहां से रेवाड़ी (हरियाणा) के रास्ते आराम से दिल्ली पहुंच सकते हैं.


रिपोर्टर - अमित कुमार


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