Jaipur: राजस्थान (Rajasthan) के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा (Raghu Sharma) ने कोविड-19 (Covid-19) से हो रही जनहानि को रोकने और गंभीर मरीजों के उपचार के लिए रेमडेसिविर इंजेक्शन (Remedicivir Injection) के उपयोग के क्रम में विशेष दिशा-निर्देश दिए हैं.


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चिकित्सा शासन सचिव सिद्धार्थ महाजन (Siddharth Mahajan) ने बताया कि रेमडेसिविर इंजेक्शन की सीमित उपलब्धता एवं मांग में अत्यधिक वृद्धि के मद्देनजर समस्त जिला कलेक्टर राजस्थान चिकित्सा सेवा निगम (आरएमएससीएल) द्वारा उपलब्ध करवाए गए रेमडेसिविर के स्टॉक को तीन सदस्यों की समिति बनाकर संबंधित जिले के प्रधानाचार्य मेडिकल कॉलेज या मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी एवं प्रमुख चिकित्सा अधिकारी से चर्चा कर आवश्यकता, उपयोगिता एवं उपलब्धता के आधार पर निर्णय कर निजी क्षेत्र के चिकित्सालयों को रेमडीसीविर देने का निर्णय ले सकेंगे.


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क्या बोले चिकित्सा शासन सचिव सिद्धार्थ महाजन 
महाजन ने बताया कि इसके लिए प्रक्रिया पूर्व में जारी संदर्भित पत्र के अनुसार ही होगी किन्तु निदेशक आरएमएसीएल से अनुमति की आवश्यकता नहीं होगी. उन्होंने बताया कि समिति अपने विवेक से इन दवाओं के उपयोग के लिए लागू प्रोटोकॉल के हिसाब से ही केस दर केस के आधार पर अपने स्तर पर निर्णय ले सकेगी. उन्होंने बताया कि समस्त जारी किए जाने वाले रेमडेसिविर इंजेक्शन के लिए संयुक्त समिति की अनुशंसा के बाद संबंधित निजी चिकित्सा संस्थान को संबंधित जिले के मेडिकल कॉलेज या जिला औषधि भंडार गृहों से उपलब्धता के आधार पर प्राप्त की जा सकेगी.


अलग से मांग नहीं किए जाने की कही बात
चिकित्सा शासन सचिव ने बताया कि रेमडेसिविर के उपलब्ध स्टॉक में से ही निजी चिकित्सालयों को उपलब्ध करवाया जाना है. इसके लिए अलग से मांग नहीं की जाए. उन्होंने जिले के निजी अस्पतालों को रेमडेसिविर एवं टोसिलिजुमेब इंजेक्शन उपलब्ध करवाए जाने के लिए अपने स्तर पर तीन चिकित्सकों की समिति द्वारा न्यायोचित एवं आवश्यक उपभोग का आंकलन कर उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए.