Jaipur News: आईटी से जलदाय विभाग की दशा और दिशा बदलने जा रही है,क्योंकि अब नए आईटी पोर्टल "कार्य प्रबंधन प्रणाली" (WMS) और राजस्थान जेजेएम डैशबोर्ड से इंजीनियर्स की कार्यशैली पर पैनी नजर होगी. इस पोर्टल से विभाग डिजिटल परिवर्तन की दिशा में एक कदम और आगे बढ़ेगा.


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समित शर्मा के नए इनोवेशन से दिशा बदलेगी-


राजस्थान में जलदाय विभाग पिछले कुछ समय से भ्रष्टाचार और घोटालों को लेकर काफी चर्चाओं में है,लेकिन अब लगता है बदलाव का वक्त आ गया है.जलदाय सचिव डॉ.समित शर्मा के नए इनोवेशन से पीएचईडी की दशा दिशा बदलने जा रही है.आज जलदाय मंत्री कन्हैयालाल चौधरी ने कार्य प्रबंधन प्रणाली (WMS) पोर्टल और राजस्थान जल जीवन मिशन पोर्टल लॉन्च किया. WMS से जल प्रदाय योजनाओं के क्रियान्वयन की प्रगति रिपोर्टिंग सहित आवश्यक पहलुओं का प्रबंधन किया जाएगा.विभिन्न एजेंसी जैसे एस.पी.एम.यू ,डी.पी.एम.यू और कॉन्टैक्टर्स की गतिविधियों पर पैनी नजर रहेगी.


टैंडर प्रक्रिया पूरी ऑनलाइन-


पोर्टल में योजना प्रस्तावों की राज्य स्तरीय स्कीम स्वीकृति समिति, प्रशासनिक एवं वित्तीय स्वीकृति,तकनीकी स्वीकृति, टेंडर अनुमोदन और निविदा सूचनाओं का ऑनलाइन प्रबंधन किया है. साथ ही जल प्रदाय योजनाओं के क्रियान्वयन के सुनियोजित प्रबंधन, प्रगति रिपोर्टिंग, ई-माप पुस्तिका, बिल ऑफ क्वांटिटी अपलोड और जल प्रदाय योजना के समस्त घटकों जैसे कि पंप हाउस, पानी की टंकियों, फिल्टर प्लांट आदि की लोकेशन जीआईएएस प्लेटफ़ॉर्म पर जनरेट भी की जाएगी.इससे विभाग में पूरी तरह से पारदर्शिता होगी.


ऑनलाइन असाइनमेंट मिलेगा इंजीनियर्स को-


विभाग के डिवीजन, सब-डिवीजन और जूनियर इंजीनियर कार्यालयों में योजनाओं का ऑनलाइन असाइनमेंट होगा. वर्क ऑर्डरों के लिए प्रोविजनल एक्सटेंशन का प्रबंधन भी किया गया है. जल जीवन मिशन राजस्थान डैशबोर्ड www.phedwms.rajasthan.gov.in से आमजन अपने गांव और राज्य स्तर पर जल जीवन मिशन की जानकारियां देख सकते है विभागीय अधिकारी,कर्मचारी योजना मैपिंग करते हुए अपने कार्यालय स्तर की जल जीवन मिशन की प्रगति देख सकते हैं.


मोबाइल से होगा पूरा कंट्रोल-


वहीं वाटर इनफॉरमेशन मैनेजमेंट सिस्टम (WIMS),जलधारा कमांड सेंटर की जानकारी साझा करते हुए बताया कि इससे राज्य की पेयजल वितरण प्रणाली की उत्पादकता बढ़ाने और सेवाओं में सुधार के लिये डेटा संग्रहण,विश्लेषण कर प्रभावी मॉनिटरिंग की जाएगी.


जलधारा कमांड सेंटर के मॉड्यूल्स से आरओ प्लांट्स,डिफ्लोरेशन इकाइयों और सोलर पंप इकाइयों की स्थापना और संचालन की मॉनिटरिंग की जाएगी.स्काडा,आईओटी के माध्यम से परियोजनाओं से जल उत्पादन और वितरण की लाइव मॉनिटरिंग,डेटा विश्लेषण हो सकेगा.यानि मोबाइल एप से पूरा कंट्रोल हो पाएगा.