जयपुर: राज्य महिला आयोग में शिकायत के लिए अब पीड़ित महिलाओं को दूर दराज के क्षेत्रों से लम्बी दूरी तय कर जयपुर नहीं पहुंचना होगा. महिला आयोग अब सीधे आपके पास पहुंचकर आपकी शिकायतों पर सुनवाई करेगा. आयोग की ओर से महिला आयोग आपके द्वार कार्यक्रम शुरू किया जा रहा है. जिसमें एक महीने में एक सप्ताह एक एक संभाग में जाकर सुनवाई की जाएगी.


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बता दें कि आयोग अध्यक्ष रेहाना रेयाज के कार्यकाल में मिले परिवादों में से एक तिहाई का निस्तारण किया जा चुका है. राजस्थान महिला आयोग का कार्यालय लालकोठी टोंक रोड जयपुर में है. ऐसे में राज्य के बांसवाड़ा हो, बाड़मेर, सिरोही हो या दूर दराज के अन्य जिलों के गांवों से पीड़ित महिलाएं अपनी शिकायत दर्ज करवाने लंबी दूरी तय कर जयपुर पहुंचती है. इन महिलाओं को जयपुर पहुंचने में कठिनाई का सामना करना पड़ता है बल्कि पैसे के साथ ही समय भी खर्च होता है. कई बार लंबी दूरी के कारण प्रताड़ित महिलाएं अपनी शिकायत लेकर आयोग कार्यालय ही नहीं पहुंच पाती है. 


आयोग अध्यक्ष रेहाना रेयाज और अन्य सदस्य कोई बड़ा मामला होने पर संभागीय और जिला स्तर पर पहुंचते हैं, लेकिन अन्य लोगों की सुनवाई नहीं हो पाती है.  ऐसे में राज्य महिला आयोग ने तय किया कि वो अब जिलों में पहुंचकर लोगों की सुनवाई करेंगें.


प्रत्येक महीने में एक सप्ताह करेंगे सुनवाई 


आयोग अध्यक्ष रेहाना रेयाज ने कहा कि हर महीने का एक सप्ताह संभागवार जनसुनवाई के लिए तय किया गया है. इस सप्ताह में संभाग के अलग-अलग जिले में जाकर मामलों की सुनवाई की जाएगी. इसमें आयोग की ओर से दो चरणों में सुनवाई की जाएगी. इसके तहत पहले जिला प्रशासन, पुलिस और अन्य विभागों के अधिकारियों से बैठक की जाएगी.  इसके बाद किसी गांव, तहसील या अन्य अलग जन सुनवाई की जाएगी. लोगों से उनकी समस्याओं के साथ ही उनके अधिकारों की जानकारी दी जाएगी. इसके बाद राज्य सरकार को भी अभिशंषा भेजी जाएगी.


आयोग में मंगल-बुध की हो रही है सुनवाई 


महिला आयोग कार्यालय में प्रत्येक सप्ताह मंगल और बुधवार को जनसुनवाई की जा रही है. आयेाग अध्यक्ष रेहाना रेयाज दोनों दिन सुनवाई कर परिवादों पर कार्रवाई के लिए सम्बंधित एसपी को निर्देश दे रही हैं. रेयाज ने कहा कि उनके कार्यकाल में फरवरी से अब तक 3618 परिवाद आयोग को मिले हैं. इनमें प्रत्येक्ष रूप से मिले परिवादों के साथ ईमेल और डाक से मिले परिवाद भी शामिल हैं. इनमें 1275 परिवादों का निस्तारण कर दिया गया है, वहीं 2343 परिवाद अभी लम्बित है. इनमें 418 परिवाद झूठे पाए गए हैं. जिनमें 60 पर पुलिस को उचित कार्रवाई करने के लिए कहा गया है.


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