राजस्थान चुनाव 2023: 6 हजार 282 से ज्यादा बुजुर्ग वोटर हुए कम,फाइनल वोटर लिस्ट पब्लिकेशन के बाद रोचक आंकड़े
राजस्थान चुनाव:मतदाता सूची का अपडेशन का काम लगातार जारी है. लेकिन इसी बीच इस सूची में रोचक आंकड़े भी सामने आ रहे हैं. 4 अक्टूबर को जारी फाइनल वोटर लिस्ट के बाद अब तक जहां युवा वोटर की संख्या में इजाफा हुआ है.
जयपुर न्यूज: विधानसभा चुनाव में मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए मतदाता सूची में नाम जोड़ने का काम लगातार जारी है. इस बार जहां यूथ मतदाता सबसे ज्यादा चुनाव के अंदर अहम भूमिका में रहेंगे तो वहीं बुजुर्गों और दिव्यांगों का होम वोटिंग की सुविधा दी गई है लेकिन इसी बीच चौंकाने वाले आंकड़े भी वोटर लिस्ट का फाइनल पब्लिकेशन के बाद सामने आए हैं. पिछले 23 दिन के दौरान किए गए रिव्यू में एक चौंकाने वाले स्थिति सामने आई है. इन 23 दिन के अंदर प्रदेशभर में बुजुर्ग वोटर्स की संख्या 6 हजार 282 कम हो गई है. ये वे वोटर्स है जिनकी उम्र 80 साल या उससे ज्यादा है.
मतदाता सूची का अपडेशन का काम लगातार जारी है. लेकिन इसी बीच इस सूची में रोचक आंकड़े भी सामने आ रहे हैं. 4 अक्टूबर को जारी फाइनल वोटर लिस्ट के बाद अब तक जहां युवा वोटर की संख्या में इजाफा हुआ है. वहीं 23 दिन के अंदर प्रदेशभर में बुजुर्ग वोटर्स की संख्या 6 हजार 282 कम हो गई है. निर्वाचन विभाग से हाल ही में जारी वोटर लिस्ट को देखे तो 80 साल या उससे बड़ी उम्र के वोटर्स की कुल संख्या प्रदेश में 11 लाख 72 हजार 7 काउंट की गई है. जबकि 4 अक्टूबर को जब निर्वाचन विभाग ने वोटर लिस्ट जारी की थी. तब उसमें 80 साल से ज्यादा एजग्रुप के वोटर्स की संख्या 11 लाख 78 हजार 289 थी.
यानी 23 दिन के अंदर अब इस एजग्रुप के वोटरों की संख्या में 6 हजार 282 कम हो गई. राजस्थान में विधानसभावार स्थिति देखे तो सबसे ज्यादा वोटर्स बुजुर्ग वोटर्स झुंझुनूं जिले की नवलगढ़ विधानसभा में है. यहां 80 साल से ज्यादा एजग्रुप के 11 हजार 959 वोटर्स है. जो यहां के कुल वोटर का 4.51 फीसदी है. इसके अलावा पिलानी, सुजानगढ़ भी ऐसे विधानसभा क्षेत्र है जहां 10-10 हजार से ज्यादा बुजुर्ग वोटर्स है.
मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता ने बताया कि बुजुर्गो की संख्या और उनकी समस्या को देखते हुए पहली बार उन्हें होम वोटिंग की सुविधा दी है. इसके लिए 20 अक्टूबर से आवेदन घर-घर बांटने शुरू हो गए है. 4 नवंबर तक 12-डी फार्म भरवाए जाएंगे. इन फार्मो को भरने के बाद फाइनल सूची तैयार की जाएगी. जिसके आधार पर इनकी वोटिंग करवाई जाएगी. सूची तैयार करने के बाद पोलिंग पार्टियां 14 से 21 नवंबर तक इन मतदाताओं के घर जाएंगी और वहां उनको बैलेट पेपर देकर वोट डलवाएगी.
वोट डालने के बाद मौके पर ही बैलेट पेपर मतपेटी में डलवाया जाएगा. इस पूरी प्रक्रिया की वीडियो ग्राफी करवाई जाएगी. वोट देने की प्रक्रिया दो चरण में होगी. पहले चरण में 14 से 19 नवंबर तक पोलिंग पार्टियां वोटरों के घर जाएगी. इस बीच कोई वोटर घर पर नहीं मिलता है तो उसके यहां दूसरा राउंड 20 से 21 नवंबर तक लगाया जाएगा.
बहरहाल, भले ही उम्र का शतक लगा चुके हैं. लेकिन मतदान का जज्बा किसी युवा से कम नहीं है. प्रदेशभर में इस बार 16 हजार 842 शतायु पार यानी कि 100 से 120 साल से ज्यादा उम्र के मतदाता विधायकों का चुनाव करने को आतुर हैं. उम्र के इस पड़ाव में भी मतदान को लेकर उनका उत्साह देखते ही बनता है. ये ऐसे मतदाता हैं, जो किसी भी चुनाव में वोट डालना नहीं भूलते. शतायु मतदाताओं में पुरुषों की अपेक्षा महिलाएं ज्यादा हैं.
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