Jaisalmer news: रामदेवरा आदर्श विद्या मन्दिर के मातृ पूजन कार्यक्रम आयोजित किया गया. कार्यक्रम में मुख्य वक्ता मनीषा छंगाणी ने कहा कि बालक के जीवन निर्माण में माँ की अहम भूमिका होती हैं. प्रत्येक माता को बालक के जीवन में शिक्षा के साथ साथ संस्कारों का निर्माण करना आवश्यक होता है. क्योंकि संस्कारों के बिना शिक्षा अपंग हो जाती है. बालकों को संस्कार युक्त शिक्षा के साथ साथ हमारी वैभवशाली और गौरव शाली परंपराओं और इतिहास का बोध कराना चाहिए.


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वर्तमान समय की चकाचौंध को देखते हुए माँ बालको को हमारी संस्कृति और रीति रिवाज के साथ साथ आदर्श जीवन शैली की शिक्षा देनी चाहिए. क्योंकि माँ की प्रेरणा और सीख से बालक राम और शिवाजी बन कर आदर्श स्थापित कर सकेंगे.


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कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि निजु कंवर, विशिष्ट अतिथि गोमती देवी विश्नोई, मोहन कंवर और जिला सचिव भंवर लाल कुमावत ने माँ सरस्वती और भारत माता के चित्र के समक्ष द्वीप प्रज्जवलित कर और पुष्पार्चन कर किया. कार्यक्रम में विद्यालय की बहिनों ने माँ की महत्ता और सम्मान के विषयों पर सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत कर सबका मन मोह लिया . विद्यालय की बहिनों ने बालिका शिक्षा पर नाटिका प्रस्तुत कर बालिका शिक्षा पर प्रकाश डाला. 


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भैया इंद्रजीत ने इस दुनिया मे सबसे प्यारी माँ होती है गीत प्रस्तुत कर सबको भाव विभोर कर दिया. जिला सचिव कुमावत ने माँ की महत्ता बताते हुए मातृ पूजन कार्यक्रम संपादित करवाया. मंच संचालन दीदी स्वरूप कंवर ने किया कार्यक्रम के अंत मे प्रधानाचार्य भोम सिंह ने आए हुए अतिथियों और मातृ शक्ति का धन्यवाद ज्ञापित किया.