Jalore: जालोर शहर के जलंधरनाथ धर्मशाला में सनातन धर्म यात्रा के तहत ओंकार सेवा संस्थान चेरिटेबल ट्रस्ट श्रीडूंगरगढ़ के सहयोग से सात दिवसीय श्रीमद भागवत कथा महोत्सव का आगाज मंगलवार को गादीपति गंगानाथ महाराज के प्रतिनिधि शेरनाथ महाराज व कथा वाचक संतोष सागर के सान्निध्य में हुआ. महोत्सव के पहले दिन भव्य कलश यात्रा निकाली गई. जिसमें श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी.


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आयोजन समिति के सदस्यों ने बताया कि सनातन धर्म यात्रा के 28वें पड़ाव के तहत आयोजित हो रहे कथा महोत्सव के पहले दिन कलश यात्रा निकाली गई जो तिलकद्वार स्थित भैरुनाथ अखाड़े से सिरे मंदिर के गादीपति गंगानाथ महाराज के प्रतिनिधि शेरनाथ महाराज एवं कथावाचक संतोष सागर के सान्निध्य में रवाना हुई.


कलश यात्रा तिलकद्वार से हरिदेव जोशी सर्किल, विवेकानंद सर्किल, अस्पताल चौराहा सूरजपोल होते हुए श्री जालंधरनाथ धर्मशाला पहुंचकर विसर्जित हुई. इस दौरान सबसे आगे भगवा ध्वजधारी युवा जयघोष करते हुए चल रहे थे. वहीं उनके पीछे सिर पर कलश धारण कर 151 बालिकाएं चल रही थीं तथा महिलाएं मंगलगीत गा रही थी. 


कलशयात्रा में रथ पर साधु संत और कथा वाचक विराजे हुए थे. इस दौरान जलंधरनाथ और शांतिनाथ महाराज के जयघोष से वातावरण धर्ममय हो गया. अवसर पर उप सभापति अम्बालाल व्यास, वरिष्ठ अधिवक्ता सुरेंद्र दवे, रिटा. जिला शिक्षा अधिकारी संतोष कुमार दवे, शिक्षाविद् संदीप जोशी, नंदकिशोर जैथलिया, महेश मोर, मदनलाल माली, शंकरलाल सोलंकी, दीपक माहेश्वरी, रामावतार तापड़िया, मंगलाराम सांखला, किशोरसिंह राजपुरोहित, राजकुमार, मुकेश सांखला, प्रेमसिंह राठौड़, पदमाराम चौधरी, देशाराम माली, श्रीकृष्ण, रतन सुथार, गजेंद्रंिसह समेत बड़ी संख्या में शहरवासी उपस्थित थे.


कथा महोत्सव के पहले दिन का शुभारंभ गणेश पूजन से किया गया. इस दौरान श्रीमद् भागवत का पूजन किया गया तथा यज्ञ का आयोजन किया गया. जिसमें जयमानों ने वेदमंत्रों की ध्वनि के बीच आहुतियां दीं. कथा के दौरान प्रतिदिन वैदिक मंत्रों के साथ यज्ञ आयोजित होगा. प्रातः यजमान बेलाराम माली व गजेंद्र माली ने सपत्नीक कलश व भागवतजी का पूजन किया.


भागवत कथा महोत्सव के पहले दिन कथा वाचक संतोष सागर ने कहा कि करोड़ों जन्मों के पुण्य उदय होते है तब भागवत कथा मिलती है. वेदों में भगवान का मिलना दुर्लभ नहीं बताया बल्कि संतो का मिलना भगवान की कथा, मानव तन मिलना दुर्लभ बताया है. कथा वाचक ने भक्ति यान वैराग्य की कथा सुनाई तथा गोकर्ण उपाख्यान का श्रवण कराया.


महाराज ने बोलते हुए कहा की भागवत 3 चीजे देती है वे है भुक्ति, मुक्ति और भक्ति देती है जिनमें सबसे कीमती चीज है भक्ति. कथा सुनने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित रहे.


Reporter-Dungar Singh


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