वेतन भुगतान को लेकर नर्सिंगकर्मियों का कार्य बहिष्कार, हल नहीं होने पर उग्र आंदोलन
झालावाड़ मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल में कार्यरत चयनित भर्ती 2018 के 106 अधिशेष नर्सिंग कर्मियों द्वारा पस्थापन और विलम्बित वेतन भुगतान की मांगों को लेकर किया जा रहा कार्य बहिष्कार आज दूसरे दिन भी जारी रहा.
Jhalawar: झालावाड़ मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल में कार्यरत चयनित भर्ती 2018 के 106 अधिशेष नर्सिंग कर्मियों द्वारा पस्थापन और विलम्बित वेतन भुगतान की मांगों को लेकर किया जा रहा कार्य बहिष्कार आज दूसरे दिन भी जारी रहा.
इस दौरान जिला अस्पताल में मेडिकल कॉलेज में कार्यरत 106 अधिशेष नर्सिंग कर्मियों ने जिला अस्पताल भवन के मुख्य द्वार पर बैठकर प्रातः 9:00 से 12:00 बजे तक 3 घंटे कार्य बहिष्कार किया और प्रदेश सरकार और चिकित्सा विभाग के खिलाफ नारेबाजी करते हुए उनकी मांगों को शीघ्र पूरा करने की मांग की है. इस दौरान नर्सेज संघर्ष समिति के जिला अध्यक्ष महेंद्र यादव ने बताया कि झालावाड़ जिला अस्पताल और मेडिकल कॉलेज में नर्सिंग कर्मी चयनित भर्ती 2018 के 106 नर्सिंग कर्मी लंबे समय से अपनी सेवाएं दे रहे हैं.
विभागीय आदेशों के बाद इन सभी को कार्य मुक्त कर सीएमएचओ के अधीन भेज दिया गया था लेकिन जिला अस्पताल की चिकित्सा व्यवस्था प्रभावित होने के बाद पुनः मौखिक आदेश पर जिला चिकित्सालय में लगा दिया गया. ऐसे में मौखिक और विभागीय आदेशों की उलझन के चलते ना तो इनका पद स्थापन स्पष्ट हो पा रहा और ना ही समय पर वेतन मिल रहा. ऐसे में कोरोना के विपरीत काल में भी अपनी लगातार सेवाएं देने वाले कोरोना वॉरियर्स नर्सिंग कर्मियों को बिना वेतन के घर खर्च चलाना अब मुश्किल हो गया है.
विभिन्न नर्सिंग कर्मियों के 6 से 10 माह तक का वेतन बकाया चल रहा. इन्हीं मांगों को लेकर लंबे समय से आंदोलन किए जा रहे लेकिन मांगे पूरी नहीं होने पर मजबूरन 3 घंटे कार्य बहिष्कार का फैसला किया गया है. यदि निदेशालय द्वारा उन्हें शीघ्र समानीकरण प्रक्रिया में शामिल नहीं किया गया तो नर्सिंग कर्मी उग्र आंदोलन को मजबूर हो जाएंगे. ऐसे में चिकित्सा व्यवस्थाएं प्रभावित होती है तो इसकी जिम्मेदारी भी निदेशालय और चिकित्सा विभाग की होगी.
Reporter: Mahesh Parihar
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