Rajasthan Weather Update: लोकसभा चुनावी सरगर्मियों के बीच राजस्थान के मौसम में लगातार हो रहे बदलाव के चलते आमजन परेशान है. अप्रैल आधा गुजर चुका है और इसके बावजूद कई हिस्सों में बे-मौसम बारिश और ओलावृष्टि बनी हुई है. राजस्थान में एक के बाद एक एक्टिव हो रहे पश्चिमी विक्षोभ के चलते कई जगहों पर आंधी तूफान के आसार बन रहे हैं तो वहीं, कुछ हिस्सों पर तापमान 38 डिग्री के पार पहुंच गया है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING


बीते रविवार को राजस्थान के कई हिस्सों में पूरे दिन बादलों की आवाजाही बनी रही तो वहीं, शाम तक कई जगहों पर आंधी तूफान बारिश का दौर जारी रहा. पश्चिमी विक्षोभ के असर के चलते राजस्थान के 28 जिलों में मौसम विभाग ने आंधी और बारिश का अलर्ट जारी कर दिया. जैसलमेर किले में तो सुबह से ही बारिश का दौर शुरू हो गया. 



आज इन जिलों के लोग रहें सावधान
बेमौसम बारिश के चलते किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें छाई हुई हैं. मौसम विभाग की तरफ से आज सोमवार यानी की 15 अप्रैल को अजमेर, भरतपुर, बीकानेर, जोधपुर और जयपुर समेत उदयपुर संभाग में बारिश होने का अलर्ट जारी किया गया है. मौसम विभाग के मुताबिक, इन हिस्सों में अच्छी खासी बारिश हो सकती है, जिसके चलते लोगों को सतर्क रहने की जरूरत है. 



कई हिस्सों में बारिश हो सकती 
मौसम विभाग के मुताबिक, इन संभागों में तेज हवाएं चल सकती हैं. वहीं आगामी 16-17 अप्रैल की बात करें तो एक बार फिर से मौसम शुष्क हो सकता है. 18-19 अप्रैल को एक्टिव होगा जिसके चलते एक बार फिर कई हिस्सों में बारिश हो सकती है.



किसानों के लिए निर्देश जारी
राजस्थान में एक के बाद एक एक्टिव हो रहे पश्चिम विक्षोभ के असर के चलते कई जगहों पर आंधी बारिश का दौर जारी है तो वहीं कई जगह पर तेज अंधड़ की संभावना भी बनी हुई है और बारिश को लेकर के मौसम विभाग ने प्रशासन और किसानों को अलर्ट किया है. इतना ही नहीं, किसानों और मंडी समितियों को अनाज की सुरक्षा करने के पुख्ता इंतजाम करने के भी निर्देश जारी किए गए हैं. 



पश्चिम विक्षोभ का असर पड़ेगा धीमे
दरअसल किसानों ने कृषि मंडियों में खुले में अनाज और जिंसों को रखा हुआ है, वह भीग न जाए, इसके लिए उन्हें सुरक्षित स्थान पर भंडारण करने का निर्देश दिया गया है. जानकारी के मुताबिक, 15 अप्रैल यानी कि सोमवार को पूर्वी राजस्थान के करौली, बारां, धौलपुर, भरतपुर को छोड़कर कई इलाकों से पश्चिम विक्षोभ का असर काफी हद तक धीमे हो जाएगा.