Pratapgarh News: राजस्थान के जिला प्रतापगढ़ के शहर में आज एक बच्चे की गर्दन में मांझा फसने से बच्चा गंभीर घायल हो गया. बच्चे को उपचार के लिए जिला चिकित्सालय पहुंचाया गया, जहां पर उसकी ईलाज की जा रही है. बच्चे की गर्दन बहुत जख्मी हो चूका है, जिससे उसके गर्दन में गहरा घाव हुआ है. 


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मांझे से बाजारों में दुकानें सजना शुरू हो चुकी है
आपको बता दें कि इन दिनों पतंग उड़ाने के लिए चायनीज मांझे का उपयोग बढ़ गया है, जो पक्षियों के साथ- साथ इंसानों के लिए भी काफी नुकसानदेह साबित हो रहा है. मकर संक्रांति पर्व नजदीक है, इसके चलते पतंग के मांझे से बाजारों में दुकानें सजना शुरू हो चुकी है. साथ ही बाजारों में चाइनीज मांझा भी खूब बिक रहा है. चाइनीज मांझें से बच्चों को नुकसान के साथ पक्षी भी घायल हो रहे है.


नाले में उल्लू घायल अवस्था में मिला
वहीं दूसरी ओर क्षेत्रिय वन अधिकारी दाराङ्क्षसह राणावत ने बताया कि जिला चिकित्सालय के सामने बालिका छात्रावास के पास एक नाले में उल्लू घायल अवस्था में मिला है. इस पर वन विभाग की ओर से उल्लू का रेस्क्यू कर रेंज परिसर में लाया गया, जहां पशु चिकित्सक व विभाग की ओर से उल्लू का उपचार किया गया. 


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उल्लू को अभी रेस्क्यू सेंटर में रखा ही गया है
उपचार के दौरान यह सामने आया कि उल्लू के दोनों पैर एवं पंख संपूर्ण रूप से पतंग उड़ाने वाले चाइनीस मांझे में फंसे हुए थे और मान्झे से उल्लू के शरीर पर तथा पंखों पर चोट के निशान थे. जितेंद्र लोहार पशुधन सहायक ने चाइनीस मांझे को काटकर घाव का उपचार किया गया. साथ ही उल्लू को अभी रेस्क्यू सेंटर में रखा ही गया है. 


पुलिस को सूचना दी जानी चाहिए
पर्यावरणप्रेमी मंगल मेहता ने बताया कि पतंग उड़ाने में चाइना मांझे का उपयोग नहीं करें, इससे कई पक्षियों की जान खतरे में होती है. गलियों में चोरी छिपे, ऑनलाइन और मंदसौर से कई लोग इसे खरीद लाते हैं. इस पर दंडनीय, सख्ती से पाबंदी हो. संदिग्ध जगहों की जांच की जाए. साथ ही कहीं कोई दुकान दार या व्यक्ति चाइनीज मांझा बेचते, खरीदते, उड़ाते, दिखे तो पुलिस को सूचना दी जानी चाहिए, ताकि इन मांझों ने किसी को नुकसान ना पहुंच सके. 


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