Rajasthan News : रणथंभौर नेशनल पार्क के युवा टाइगर की मौत, शरीर पर मिले घाव के निशान
Rajasthan News : वन्यजीव प्रेमियों के लिये आज एक बार फिर सवाई माधोपुर स्थित रणथंभौर से एक बेहद दुःखद खबर सामने आई है. रणथंभौर नेशनल पार्क के आमा घाटी वन क्षेत्र में विचरण करने वाले युवा टाइगर टी 2309 की आज मौत हो गई.
Rajasthan News : वन्यजीव प्रेमियों के लिये आज एक बार फिर सवाई माधोपुर स्थित रणथंभौर से एक बेहद दुःखद खबर सामने आई है. रणथंभौर नेशनल पार्क के आमा घाटी वन क्षेत्र में विचरण करने वाले युवा टाइगर टी 2309 की आज मौत हो गई. जिससे रणथंभौर के वन्य जीव प्रेमियों में शोक के लहर दौड़ गई. सूचना मिलते ही वन विभाग के अधिकारी कर्मचारी मौके पर पहुंचे और घटनास्थल का मौका मुआयना करने के पश्चात टाइगर के शव को अपने कब्जे में लेकर राजबाग नाका चौकी लाया गया. जहां मेडिकल बोर्ड की मौजूदगी में टाइगर के शव का पोस्टमार्टम किया गया और उसके बाद टाइगर के शव का अंतिम संस्कार किया गया.
पोस्टमार्टम के दौरान टाइगर के शरीर पर दूसरे टाइगर से टेरिटोरियल फाइट के घाव के निशान मिले. इस अवसर पर पोस्टमार्टम के पश्चात जानकारी देते हुए रणथंभौर के मुख्य वन संरक्षक अनूप के आर ने बताया कि रणथंभौर के आमा घाटी वन क्षेत्र में विचरण करने वाले टाइगर टी 2309 की टेरिटरी में दूसरे टाइगर टी 120 गणेश भी विचरण करता है.
संभवतया टाइगर टी 120 गणेश से आपसी संघर्ष में ही टाइगर टी 2309 की मौत हुई है. वनाधिकारियों के मुताबिक आज गस्त के दौरान वनकर्मियों को रणथंभौर के आमा घाटी वन क्षेत्र में टाइगर टी 2309 का शव पड़ा हुवा मिला था , टाइगर के शव को देख गस्त कर रहे वनकर्मियों ने इसकी सूचना वनाधिकारियों की दी ,जिसके बाद रणथंभौर के डीएफओ रामानंद भाकर सहित अन्य वनाधिकारी मौके पर पहुंचे और शव को कब्जे में कर राजबाग नाका चौकी पहुंचाया गया. वन अधिकारियों के मुताबिक टाइगर टी 2309 रणथंभौर की बाघिन टी 105 नूरी की संतान है.
मृतक टाइगर टी 2309 की उम्र करीब साढ़े तीन साल है ,रणथंभौर के युवा टाइगर टी 2309 की मौत वन्यजीव प्रेमियों के लिए दुखद खबर है. टाइगर टी 2309 के शव का पोस्टमार्टम करने के पश्चात वन अधिकारियों की मौजूदगी में शव का विधिवत रूप से अंतिम संस्कार कर दिया गया. वहीं जांच के लिए विसरा प्रयोगशाला भेजा गया है. टेरिटोरियल फाइट में युवा टाइगर की इस तरह से मौत होना बेहद दुखद है ,साथ ही वन विभाग की बाघों को लेकर की जा रही ट्रेकिंग एंव मॉनिटरिंग पर भी कई तरह के सवाल खड़ा करती है. लेकिन ज़िम्मेदार अधिकारी कर्मचारियों पर कोई कार्यवाही नही होती.