Sushant Singh Case: सुप्रीम कोर्ट में रिया चक्रवर्ती और बिहार सरकार ने पेश किया जवाब
सुशांत सिंह राजपूत (Sushant Singh Rajput) की मौत के मामले में आज रिया चक्रवर्ती (Rhea Chakraborty) और बिहार सरकार (Bihar Government) के वकील ने सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) को जवाब सौंप दिया है.
नई दिल्ली: नई दिल्ली: सुशांत सिंह राजपूत (Sushant Singh Rajput) की मौत के मामले में आज रिया चक्रवर्ती (Rhea Chakraborty) और बिहार सरकार (Bihar Government) के वकील ने सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) को जवाब सौंप दिया है. रिया चक्रवर्ती की याचिका (बिहार से मुंबई केस ट्रांसफर करने) पर 11 अगस्त को हुई सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने सभी पक्षों से 13 अगस्त तक पहले के फैसलों की नजीर दाखिल करने को कहा था. इस केस में रिया चक्रवर्ती की ओर से श्याम दीवान, महाराष्ट्र सरकार की ओर से अभिषेक मनु सिंघवी, बिहार सरकार की तरफ से मनिंदर सिंह और केंद्र की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता विस्तार से अपना पक्ष रख चुके थे.
बिहार सरकार का जवाब
बिहार सरकार ने SC में लिखित जवाब दाखिल करते हुए कहा कि मामले में एकमात्र FIR पटना में दर्ज हुई है. बिहार सरकार की सिफारिश पर मामला CBI को ट्रांसफर किया जा चुका है. लिहाजा रिया की याचिका का अब कोई औचित्य नहीं है. उनकी तरफ से ये भी कहा गया है कि रिया की याचिका निष्प्रभावी हो चुकी है. इसी जवाब में मुंबई पुलिस पर राजनीतिक दबाव में होने और बिहार पुलिस को जांच में सहयोग नहीं करने का जिक्र भी किया गया.
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रिया का जवाब
रिया की ओर से सुप्रीम कोर्ट में दाखिल लिखित जवाब में कहा गया है कि रिया के खिलाफ सुशांत के पिता के आरोप बेबुनियाद है. पटना पुलिस सिर्फ ज़ीरो FIR दर्ज कर सकती है, इसलिए मामले की जांच मुंबई पुलिस को ट्रांसफर होनी चाहिए. इसके साथ ये भी कहा गया कि सुप्रीम कोर्ट अगर मामले को सीबीआई (CBI) को सौंपने का आदेश करता है तो उसे कोई आपत्ति नहीं है.
इससे पहले इस मामले में महाराष्ट्र सरकार ने भी सुप्रीम कोर्ट में अपनी कैविएट फाइल की थी, जिसमें कहा गया था कि रिया की याचिका पर सुनवाई के दौरान महाराष्ट्र सरकार का पक्ष भी सुना जाए और रिया की याचिका पर कोई एक तरफा आदेश जारी ना करें. वहीं इसी मामले में बिहार सरकार और सुशांत सिंह राजपूत के पिता ने भी इस मामले में कैविएट दायर किया था. रिया चक्रवर्ती ने अपनी याचिका में सबसे पहले ये भी कहा था कि एक मामले की जांच दो जगह की पुलिस नहीं कर सकती है.