Maharashtra Assembly Election 2024: लोकसभा चुनाव में बीजेपी को जिन दो राज्यों से झटका मिला, उसमें महाराष्ट्र भी शामिल है. नतीजे तो अब कोई नहीं बदल सकता. इसलिए अब आगे के लिए तैयारियां शुरू हो गई हैं. इस बीच खबरे हैं कि बीजेपी की अगुआई वाली महायुति में सब कुछ ठीक नहीं है. एक तो अजित पवार की एनसीपी मोदी कैबिनेट में मंत्री पद नहीं मिलने के कारण नाराजगी जता चुकी है. अब एनसीपी के नेता अमोल मिटकरी ने कहा है कि अगर महायुति की तीनों ही पार्टियों ने 100 सीटों की मांग की तो सभी आगामी विधानसभा चुनाव अकेले लड़ेंगे.


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महाराष्ट्र विधानसभा में 288 सीटें हैं. अमोल ने कहा, 'अगर राज्य विधानसभा चुनाव में महायुति की तीनों पार्टियों ने 100 सीटों की डिमांड रखी तो यह अव्यवहारिक हो जाएगा, तब तीनों ही पार्टियों को अलग-अलग चुनाव लड़ना होगा. उन्होंने कहा कि अगर एनसीपी को 55 सीटों का ऑफर दिया गया तो यह स्वीकार्य नहीं होगा.'


बीजेपी ने साधी चुप्पी


हालांकि बीजेपी ने इस पर कोई टिप्पणी नहीं की है. लेकिन बीजेपी के एमएलसी प्रवीन दारेकर ने कहा कि एनसीपी को मितकारी को ऐसे बयान देने से रोकना चाहिए. उन्होंने कहा कि महायुति में अभी सीट शेयरिंग को लेकर बातचीत होनी है.


दूसरी ओर, पुणे जिले में शिरूर से BJP के एक पदाधिकारी ने सत्तारूढ़ गठबंधन से उपमुख्यमंत्री अजित पवार और उनकी NCP को बाहर करने की मांग की. बीजेपी की शिरूर तहसील के उपाध्यक्ष सुदर्शन चौधरी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें वह पार्टी की एक बैठक में यह मांग करते हुए दिखाई दे रहे हैं. इस वीडियो के सामने आने पर एनसीपी कार्यकर्ताओं में आक्रोश पैदा हो गया और उन्होंने बीजेपी नेता से माफी की मांग कर डाली.


पवार के पोते का दावा


दूसरी ओर शरद पवार की अगुआई वाली एनसीपी के नेता रोहित पवार ने अलग ही दावा कर डाला. उन्होंने कहा, बीजेपी चाहती है कि विधानसभा चुनावों में अजित पवार की एनसीपी और शरद पवार की पार्टी अलग-अलग चुनाव लड़ें ताकि विपक्ष के वोट कट सकें. उन्होंने कहा कि बीजेपी अजित पवार के राजनीतिक कद को कम करने की कोशिश कर रही है. 


रोहित पवार शरद पवार के पोते हैं. रोहित का दावा है कि बीजेपी 288 सीट में से अजित पवार को सिर्फ 20 सीट दे सकती है, जिस कारण एनसीपी को महायुति से बाहर निकलना पड़ सकता है. उन्होंने कहा, 'अजित पवार को बाहर करना BJP या फिर दोनों दलों की रणनीति हो सकती है. वह (अजित) विपक्ष महाविकास अघाड़ी, खासतौर से शरद पवार की एनसीपी के वोच काटने के लिए अलग चुनाव लड़ सकते हैं.


(PTI इनपुट के साथ)