Sheikh Shahjahan TMC: पश्चिम बंगाल का एक इलाका सुलग रहा है. इसके पीछे तृणमूल कांग्रेस के नेता शेख शाहजहां हैं. शेख शाहजहां के ऊपर गंभीर आरोप लगे हैं. असल में 24 परगना जिले के संदेशखाली में शेख शाहजहां और उसके गुर्गों द्वारा किए गए अत्याचारों के खिलाफ महिलाओं ने मोर्चा खोल दिया है. पुलिस ने धारा 144 लगा दी है. ये वही शेख शाहजहां है जिसने ईडी अधिकारियों पर हमला भी किया था. अब इसके नए कारनामें सामने आए हैं जिसमें इसने महिलाओं से छेड़छाड़ की है और जमीनों पर अवैध कब्जा भी किया है. इसी बीच वह फरार हो गया है लेकिन ईडी के अधिकारी शेख शाहजहां की संपत्ति कुर्क करने के लिए कानूनी विकल्पों पर विचार कर रहे हैं.


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असल में शेख शाहजहां 5 जनवरी को संदेशखाली में हुए हमले के बाद से फरार है. इस दिन ईडी की टीम राज्य में करोड़ों रुपये के राशन वितरण मामले के संबंध में तलाशी अभियान के लिए उनके आवास पर पहुंची थी. इसी दौरान टीम पर हमला हुआ था. ईडी के अधिकारी अब अपने कानून विशेषज्ञों से परामर्श ले रहे हैं कि अदालत के रास्ते ऐसी संपत्तियों को कैसे कुर्क किया जा सकता है. अधिकारी शाहजहां और उनके परिवार के सदस्यों की संपत्ति और परिसंपत्तियों से संबंधित दस्तावेजों के विवरण की जांच कर रहे हैं.


महिलाएं सड़क पर उतर चुकी हैं
हिंसा और फरारी के बीच वहां के कुछ रहवासी महिलाएं उसके खिलाफ सड़क पर उतर चुकी हैं. कुछ लोग उसके करीबी सहयोगियों की गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं. महिलाओं का आरोप है कि शेख शाहजहां के गुर्गे जबरदस्ती करते थे और उनकी जमीनों को हड़प लेते थे. फिलहाल संदेशखाली की 16 पंचायतों के अंतर्गत आने वाले क्षेत्र में धारा 144 लागू रहेगी और इंटरनेट पर प्रतिबंध भी जारी रहेगा. 5 जनवरी को हुए हमले के बाद से शाहजहां केंद्रीय एजेंसी के साल्ट लेक कार्यालय में उपस्थिति के लिए ED के समन के बाद से ही फरार है. 


जांच केंद्रीय एजेंसी कर रही है
उधर ईडी के अधिकारी परिसंपत्तियों की खरीद के लिए धन के स्रोतों की पहचान कर रहे हैं और इस प्रकार उन्हें राशन वितरण मामले की आय से जोड़ रहे हैं. शेख शाहजहां और उसके परिवार के सदस्यों के नाम पर कई बैंक खातों में हुए लेनदेन की जांच भी केंद्रीय एजेंसी कर रही है. सूत्रों ने कहा कि यह अभी तक अनिश्चित है कि ईडी के अधिकारी फरार तृणमूल कांग्रेस नेता को कब पकड़ेंगे. इस बीच जांच अधिकारी राशन वितरण मामले के संबंध में उनके खिलाफ एक पुख्ता मामला बनाने की कोशिश में जुटना चाहते हैं.


ईडी-सीएपीएफ अधिकारियों पर हमले को 36 दिन
सूत्रों ने यह भी कहा कि उनकी संपत्तियों की कुर्की और उनके बैंक खातों को जब्त करना जरूरी हो गया है. एक बार ऐसा हो जाने के बाद, फरार सत्तारूढ़ दल के नेता पर आत्मसमर्पण करने का दबाव होगा. ईडी और सीएपीएफ अधिकारियों पर हमले को 36 दिन बीत चुके हैं, लेकिन शाहजहां को अभी तक गिरफ्तार नहीं किया गया है. ईडी ने पहले ही इस आशंका में शाहजहां के खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी कर दिया है कि वह पड़ोसी देश बांग्लादेश भाग सकता है. agency input