UCC Bill in Hindi: राजनीतिक रूप से संवेदनशील समान नागरिक संहिता यानी UCC बिल आज उत्तराखंड विधानसभा में पेश हो गया. इस बीच, समाजवादी पार्टी के सांसद एसटी हसन ने कहा है कि अगर यूसीसी कुरान में मुसलमानों को दी गई हिदायत के खिलाफ है तो हम नहीं मानेंगे. अगर कुरान के हिसाब से है तो हमें कोई ऐतराज नहीं है. 2022 के उत्तराखंड विधानसभा चुनावों में भाजपा ने इस बिल का वादा किया था. 


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सपा सांसद ने कहा कि ट्रिपल तलाक पर भी कानून है लेकिन लोग मान नहीं रहे हैं. यह देश धार्मिक देश है. हिंदू भाई अपने धर्म से जुड़े हैं, उनके अपने रीति-रिवाज है. मेरे यहां निकाह होता है, मेरे यहां दफन किया जाता है. हिंदुओं में शादी होती है, वहां जलाया जाता है. अगर हम दुनिया के मुसलमान कुरान को 'अल्लाह का कानून' मानते हैं तो हम कुरान को ही फॉलो करेंगे. 



कानून बनने के बाद यह बिल धार्मिक पर्सनल लॉ की जगह लेगा और शादी, तलाक समेत कई नियम बदल जाएंगे. राज्य में भाजपा के पास स्पष्ट बहुमत होने के कारण बिल के आसानी से पारित होने की उम्मीद है. जैसे ही सीएम पुष्कर सिंह धामी ने बिल पेश किया, सदन में मौजूद सदस्य जयश्री राम के नारे लगाने लगे. 



बिल में विवाह पर क्या है प्रावधान


  • मुसलमानों में एक से ज्यादा शादियां जायज हैं लेकिन उत्तराखंड में पेश बिल के चौथे पॉइंट में साफ लिखा है, 'विवाह के समय न तो वर की कोई जीवित पत्नी हो और न वधू का कोई जीवित पति हो.'

  • हालांकि विवाह अनुष्ठानों पर किसी तरह के प्रतिबंध का प्रस्ताव नहीं है.

  • इसके अलावा 33-34वें नंबर पर लिखा है कि भरण-पोषण और गुजारा भत्ते का अधिकार वर और वधू दोनों को प्राप्त होगा. 

  • सरकारी योजनाओं का लाभ लेने के लिए शादी का पंजीकरण अनिवार्य करने का प्रावधान है. 


कांग्रेस भी खिलाफ नहीं लेकिन...


कांग्रेस ने भी कह दिया है कि वह यूसीसी के खिलाफ नहीं है लेकिन जिस तरीके से इसे सदन में पेश किया गया है उसके खिलाफ जरूर हैं. नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि बीजेपी इस बिल को सीधे पास कराना चाहती है. कांग्रेस विधायक ने कहा कि हमें पर्याप्त समय दिया जाना चाहिए जिससे हम इसे पढ़कर अपनी बात रख सकें. सरकार आज ही पारित करा लेना चाहती है. उन्होंने कहा कि सदन नियम से चलता है. 


आज उत्तराखंड विधानसभा सत्र की कार्यवाही का दूसरा दिन है. सदन की कार्यवाही शुरू होते ही 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई. नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने यूसीसी बिल पर आपत्ति दर्ज कराई. उन्होंने कहा कि सरकार यूसीसी के ड्राफ्ट को तुरंत लागू क्यों करना चाहती है? विपक्ष ने इस ड्राफ्ट को पढ़ने का समय मांगा है, जिसके बाद विधानसभा अध्यक्ष ने दो बजे तक कार्यवाही स्थगित कर दी.