ताजमहल में शाहजहां के उर्स का विरोध, अखिल भारत हिंदू महासभा ने किया शिव चालीसा का पाठ और जलाभिषेक
Agra News: मंगलवार को ताजमहल में होने वाले उर्स के विरोध में हिंदू महासभा ने मेहताब बाग पर भगवान भोलेनाथ की चित्र लगाकर ताजमहल पर सांकेतिक शिव चालीसा का पाठ किया.
मनीष गुप्ता/आगरा: उत्तर प्रदेश की ताजनगरी आगरा के ताजमहल में छह से आठ फरवरी तक शाहजहां का उर्स आयोजित किया जा रहा है. उर्स को लेकर अखिल भारत हिंदू महासभा ने विरोध करते हुए 11 सीढ़ी मेहताब बाग पर शिव चालीसा का पाठ कर गंगाजल से जलाभिषेक किया. प्रदर्शकारियों के मुताबिक, जब ताजमहल पर किसी तरह का धार्मिक आयोजन पर रोक है तो यहां उर्स किसकी अनुमति से कराया जा रहा है. हिंदू महासभा ने आगरा कोर्ट में शाहजहां के उर्स को रोकने के लिए याचिका भी दायर की है, जिसकी 4 मार्च को सुनवाई होनी है.
शाहजहां का 369वां उर्स
मंगलवार से मुगल बादशाह शाहजहां का 369वां उर्स शुरू हो गया है. 6 से लेकर 8 फरवरी तक उर्स का आयोजन होगा. उर्स के दौरान ताजमहल की मुख्य गुंबद (मकबरे) के नीचे शाहजहां और मुमताज बेगम की बनीं असली कब्रों को खोला जाता है. उर्स के दौरान पर्यटक दोनों की असली कब्र देख सकते हैं. एएसआई के मुताबिक, तीन दिन तक प्रवेश निशुल्क रहेगा. आज यानी मंगलवार को जहां एक ओर पहले दिन गुस्ल की रस्म के साथ उर्स की शुरुआत हुई. वहीं दूसरी ओर हिंदुत्ववादी संगठन अखिल भारत हिंदू महासभा ने इसका विरोध शुरू कर दिया. करीब आधा दर्जन हिंदुत्ववादी संगठन के पदाधिकारी प्रदर्शन के लिए ताजमहल के पार्श्व मेहताब बाग पहुंच गए.
उर्स मनाना 'अवैध'
अखिल भारत हिंदू महासभा के जिला अध्यक्ष सौरभ शर्मा ने कहा कि मुगल आक्रांताओं द्वारा मंदिर तोड़कर मस्जिद बनाई गई. जबरन वहां पर नमाज अदा की गई. हमने ताजमहल में उर्स के संबंध में न्यायालय का सहारा लिया. हमने कोर्ट को बताया कि जो उर्स हो रहा है, वह गैर कानूनी है. भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) द्वारा संरक्षित स्मारकों के अंदर किसी भी धार्मिक कार्यक्रम की अनुमति नहीं है और इस प्रकार ताज महल के अंदर उर्स मनाया जाना भी 'अवैध' है. इस आयोजन के लिए किसी की परमिशन नहीं है. हिंदू महासभा ने पहले ही ऐलान किया था कि अगर ताजमहल के अंदर उर्स हुआ तो हम भगवान शिव पर जलाभिषेक करेंगे.
कानूनी कार्रवाई की मांग
वहीं, अखिल भारत हिंदू महासभा की मंडल अध्यक्ष मीना दिवाकर ने कहा कि आज उर्स के विरोध में मेहताब बाग पर भगवान भोलेनाथ की चित्र लगाकर ताजमहल पर सांकेतिक शिव चालीसा का पाठ किया. इसके साथ ही गंगाजल से जलाभिषेक कर उर्स का विरोध किया. उन्होंने आरोप लगाया कि हिंदूवादी गले में केसरिया दुपट्टा पहन कर जाते हैं तो उन पर मुकदमा लिख दिया जाता है. वहीं, आज ताजमहल के अंदर 144 धारा की कानून की धज्जियां उड़ाई गईं. ऐसे में हम प्रशासन से उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग करते हैं.