UP News: उत्तर प्रदेश की लगभग 60 प्रतिशत जनसंख्या कृषि पर निर्भर है. कृषि क्षेत्र को विकसित करने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों ने कई योजनाएं बनाई हैं. बड़ी बात यह है कि किसानों को इन योजनाओं का लाभ सीधे मिल सके. इसके लिए एग्री स्टैक किसानों को उच्च गुणवत्ता वाले कृषि इनपुट, सस्ता ऋण, जरूरी सलाह और बाजारों तक आसानी से पहुंच मिलती है. एग्रीस्टैक का लक्ष्य है कि सरकार के विभित्र हितधारकों द्वारा विभिन्न किसान और कृषि केंद्रित लाभदायी कार्यक्रमों की कार्ययोजना बनाना और उन्हें लागू करने की प्रक्रिया को आसान बनाना है.


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डिजिटल बेस किसान रजिस्टर
उप कृषि निदेशक शैलेंद्र कुमार ने कृषि स्टैक परियोजना के बारे में कहा कि डिजिटल बेस किसान रजिस्ट्री बनानी होगी. पहले चरण में, 8 जुलाई 2024 से कृषि और राजस्व विभाग ने गांवों में कैम्प लगाकर फार्मर रजिस्ट्री शुरू की. 1 अगस्त से दूसरे चरण में सभी के लिए सुविधाएं खुली जाएंगी. किसान भाई जन सुविधा केंद्र की सहायता से या खुद फार्मर रजिस्ट्री बना सकेंगे.


जमीन का होगा विवरण 
फार्मर रजिस्ट्री में अधिकतर किसानों की जमीन का विवरण होगा और आधार सहमति से उनको सरकारी कार्यक्रमों से तुरंत लाभ मिलेगा. यह किसानों को अधिकारियों को बार-बार आवश्यक कागजात देने से बचाएगा. फार्मर रजिस्ट्री की खास बात यह है कि यह किसानों को प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के अगले चरण को प्रदान करेगा. इसके लिए 30 सितंबर आखिरी तारीख है.


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