Gorakhpur News: यूपी  के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गृहजिले में 'गुरुकुल टाउनशिप' का विकास किया जाएगा. जो कि वैदिक सिटी की थीम पर आधारित होगा. गोरखपुर विकास प्राधिकरण ने इस परियोजना की शुरुआत कर दी है. यह टाउनशिप शहर के बालापार, मानीराम और सोनबरसा में बनाई जाएगी और इसमें कुल आठ सेक्टर होंगे.


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

विश्वविद्यालय, टेक्नोलॉजी संस्थान, कॉलेज और कोचिंग सेंटर खुलेगें
इस टाउनशिप के लिए 6000 एकड़ भूमि का अधिग्रहण किया जाएगा. सीएम योगी ने हाल ही में संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में कहा कि हमारी संस्कृति और परंपरा ही हमारी असली ताकत है. इसी के आधार पर भारत विश्वगुरु बन सकता है. गुरुकुल टाउनशिप में 10 से 15 एकड़ के विभिन्न सेक्टरों में निजी विश्वविद्यालय, तकनीकी संस्थान, स्कूल, कॉलेज, और कोचिंग सेंटर स्थापित किए जाएंगे. इसके अलावा, विद्यार्थियों के लिए छात्रावास भी उपलब्ध कराया जाएगा.


खेल के मैदान, गोल्फ कोर्स और पार्क का निर्माण होगा 
इसमें खेल के मैदान, गोल्फ कोर्स और बड़े पार्क विकसित किए जाएंगे. चिलुआताल की दिशा में ग्रीन बेल्ट का विकास भी किया जाएगा. प्राधिकरण इस परियोजना की इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट और प्लानिंग के लिए जल्द ही एक कंसलटेंसी फर्म हायर करेगा.


इस क्षेत्र में हो रही जमीनें अधिग्रहित 
गुरुकुल टाउनशिप का निर्माण मानीराम, रहमतनगर, सोनबरसा और बालापार इलाके में होगा. गोरखपुर विकास प्राधिकरण ने किसानों से भूमि समझौते के आधार पर भूमि खरीदने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. वर्तमान में, 54.984 हेक्टेयर, 15.958 हेक्टेयर, 25.260 हेक्टेयर और 62.175 हेक्टेयर भूमि के लिए किसानों से सौदे किए जा रहे हैं. उपाध्यक्ष आनंद वर्द्धन ने कहा कि इस परियोजना के लिए जल्द ही कंसल्टेंट फर्म को नियुक्त किया जाएगा और नवंबर-दिसंबर में निवेशक सम्मेलन आयोजित किया जाएगा.


गुरुकुल खोलने के फैसले को संतों का समर्थन
योगी सरकार द्वारा उत्तर प्रदेश में गुरुकुल खोलने के फैसले का संत समाज ने स्वागत किया है. श्री पंचदशनाम जूना अखाड़ा और श्री पंचायती बड़ा उदासीन अखाड़ा के संतों ने इस पहल की सराहना की है. महंत प्रेमगिरी महाराज ने इसे संस्कृति और परंपरा को बढ़ावा देने वाला कदम बताया. जो समाज को वैदिक परंपरा के मार्ग पर लाने में सहायक होगा. स्वामी डॉक्टर भारद्वाज महाराज और महंत हनुमानदास जी ने भी इस फैसले को समय की जरूरत बताया. जिससे आधुनिकता के प्रभाव में खोती सनातन संस्कृति को मजबूती मिलेगी.


इसे भी पढे़: Todays Petrol Diesel Price: पेट्रोल-डीजल की कीमतों में गिरावट?, धनतेरस से पहले यूपी के शहरों में देखें फ्यूल रेट


इसे भी पढे़: सीएम योगी कहां मनाते हैं दिवाली?, 15 सालों से बाबा ही जलाते चले आ रहे दीपावली का पहला दीपक


डिस्क्लेमर
लेख में दी गई ये जानकारी सामान्य स्रोतों से इकट्ठा की गई है. इसकी प्रामाणिकता की पुष्टि स्वयं करें. एआई के काल्पनिक चित्रण का जी यूपीयूके हूबहू समान होने का दावा या पुष्टि नहीं करता.