Brij Bhushan Sharan Singh:लोकसभा चुनाव से पहले बृज भूषण शरण सिंह को बड़ा झटका लगा है. पहलवानों के यौन शोषण केस में उनकी मुश्किलें बढ़ती हुई नजर आ रही है. महिला पहलवानों की ओर से दायर यौन शोषण के मामले में नए सिरे से जांच करने की याचिका राऊज एवेन्यु कोर्ट ने खारिज की है. कुश्ती महासंघ के पूर्व अध्यक्ष बृज भूषण शरण सिंह मामले की नए सिरे से जांच की याचिका दायर की है. 


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बृज भूषण का दावा था कि वो घटना के वक़्त भारत में मौजूद नहीं था अब कोर्ट बृज भूषण के खिलाफ आरोप तय करने को लेकर 7 मई को आदेश सुनाएगा. आरोप तय करने को लेकर जो कोर्ट का आदेश आएगा, उससे साफ होगा कि बृजभूषण के खिलाफ यौन शोषण के आरोप को लेकर मुकदमा चलेगा या नही. अगर हाँ, तो किन किन धाराओं के तहत मुकदमा चलेगा, ये भी उस आदेश से साफ होगा.


बृजभूषण शरण सिंह कैसरगंज लोकसभा सीट से सांसद हैं, लेकिन बीजेपी की दस से ज्यादा लिस्ट आ चुकी हैं, लेकिन अभी तक कैसरगंज सीट से प्रत्याशी घोषित नहीं किया गया है. गोंडा से भी बृजभूषण शरण सिंह सांसद रह चुके हैं. बृजभूषण शरण सिंह से रोज टिकट मिलने को लेकर सवाल होता है, लेकिन वो भी देखो और इंतजार करने के मूड में हैं. उनका दावा है कि बीजेपी एक घंटे पहले भी उन्हें टिकट दे देती है तो भी वो चुनाव जीत लेंगे. 


कहा यह भी जा रहा है कि बीजेपी उत्तर प्रदेश में चुनाव के पहले दो चरणों के पूरा होने का इंतजार कर रही थी, जहां जाट बाहुल्य सीटें हैं. ऐसे में 26 अप्रैल के बाद कभी भी कैसरगंज लोकसभा सीट से उम्मीदवार का ऐलान हो सकता है. बृजभूषण सिंह राजपूत समुदाय से आते हैं और आसपास की कई सीटों पर भी उनका प्रभाव है. ऐसे में पार्टी के लिए उनका टिकट काटना बेहद कठिन फैसला साबित हो सकता है.


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