उत्तर प्रदेश के धर्मांतरण केस की जांच करेगी NIA, खुलेगी केस की हर परत
केस को सौंपने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. अब यूपी एटीएस की जगह एनआईए केस की पड़ताल शुरू कर सकती है. धर्मांतरण केस (conversion case) से जुड़ी सभी घटनाओं की पड़ताल की जांच संस्था करेगी.
लखनऊ: उत्तर प्रदेश के धर्मांतरण केस की जांच अब नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी करेगी.आठ राज्यों में फैले धर्मांतरण केस की जांच यूपी एटीएस ने NIA को सौंप दी है. जांच एजेंसी ने यूपी ATS से धर्मांतरण मामले की पूरी रिपोर्ट मांगी है. एनआईए की 2 यूनिट पूरे केस की जांच में लगाई जा सकती है. धर्मांतरण केस की जांच एनआईए की दिल्ली और यूपी यूनिट करेगी. वहीं रिमांड पर चल रहे मौलाना मोहम्मद उमर गौतम और जहांगीर कासमी से ईडी की टीम पूछताछ करेगी.
एनआईए केस की पड़ताल शुरू कर सकती है
केस को सौंपने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. अब यूपी एटीएस की जगह एनआईए केस की पड़ताल शुरू कर सकती है. धर्मांतरण केस (conversion case) से जुड़ी सभी घटनाओं की पड़ताल की जांच संस्था करेगी.
मनी लॉन्ड्रिंग के एंगल से जांच शुरू
उत्तर प्रदेश में पकड़े गए धर्मांतरण कराने वाले गिरोह के तार मनी लॉन्ड्रिंग से भी जुड़ रहे हैं. प्रवर्तन निदेशालय ने इस मामले में एक आपराधिक मामला दर्ज किया है और मनी लॉन्ड्रिंग के एंगल से जांच शुरू कर दी है.
दिल्ली-NCR के मदरसों में यूपी ATA चलाएगी तलाशी अभियान
उधर, धर्मांतरण केस में उत्तर प्रदेश एंटी टेरर स्क्वाड (ATS) टीम अब जल्द ही लापता मूक बधिर छात्रों की मदरसों में तलाश करेगी. नोएडा डेफ सोसाइटी के मूक बधिर छात्रों के मामले में लापता छात्रों की तलाश के लिए अब दिल्ली-एनसीआर के मदरसों में यूपी एटीएस तलाशी अभियान चालएगी. करीब 500 से अधिक छात्रों का ब्यौरा यूपी एटीएस ने तैयार किया है.
ATS के रडार पर कानपुर के 3 मौलाना
धर्मांतरण केस में यूपी एटीएस की रडार पर कानपुर के तीन मौलाना भी आ चुके हैं जो सीएए और एनआरसी विरोध में हिंसा भड़काने के आरोप में जेल जा चुके हैं. कानपुर के बाबूपुरवा की हिंसा में तीनो का नाम आया था. अनवरगंज के रहने वाला एक मौलाना लगातार आदित्य उर्फ अबदुल्लाह के संपर्क में रहा है और हलीम मुस्लिम कॉलेज भी यही मौलाना आदित्य को ले गया था. एटीएस ने उमर के भाई से 2 घंटे पूछताछ की है.
वैक्सीनेशन को रफ्तार देने के लिए नामी-गिरामी हस्तियों की मदद लेगी यूपी सरकार
एटीएस ने इस हफ्ते की शुरुआत में दिल्ली के जामिया नगर से मुफ्ती काजी जहांगीर आलम कासमी और मोहम्मद उमर गौतम को गिरफ्तार किया था. एटीएस ने दावा किया था कि ये दोनों इस्लामिक दावा केंद्र नामक संस्था के जरिए लोगों का धर्मांतरण करा रहे थे. ये एक हजार से अधिक मूक बधिर छात्रों और गरीब लोगों को प्रलोभन देकर उनका धर्मांतरण करा चुके हैं.
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